अभिनेता अभय देओल ने उन भारतीय हस्तियों को लताड़ लगाई है जिन्होंने अमेरिका के मिनिसोटा प्रांत में अश्वेत अमेरिकी जॉर्ज फ्लॉयड की पुलिस हिरासत में मौत और उसके बाद होने वाले हिंसक प्रदर्शन को लेकर सोशल मीडिया पर अपने विचार व्यक्त किए हैं, लेकिन कथित तौर पर भारत में इसी तरह के अन्याय की उपेक्षा की।
इंस्टाग्राम पर पोस्ट किए गए एक संदेश में अभय ने लिखा, "प्रवासी जीवन मायने रखता है, गरीब जीवन मायने रखता है, अल्पसंख्यक जीवन मायने रखता है।" अभय ने एक कागज के टुकड़े पर अपने हाथों से ये लाइन लिखी हैं और इसका फोटो पोस्ट किया है।
करण जौहर, प्रियंका चोपड़ा, करीना कपूर खान और अन्य भारतीय हस्तियों ने एक गोरे पुलिसकर्मी के हाथों एक काले व्यक्ति की हत्या के बाद संयुक्त राज्य अमेरिका में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शनों के बारे में सोशल मीडिया पर पोस्ट किया है।
अभय देओल का गुस्सा संभवत: इन्हीं सेलिब्रिटीज़ के खिलाफ है जो भारत में इसी तरह के मुद्दे को इग्नोर कर देते हैं। गरीबी, अल्पसंख्यक और मजदूरों के मुद्दों पर वे इस तरह चुप्पी साध लेते हैं मानो कुछ हुआ ही नहीं। उन्हें ही जगाने की कोशिश अभय ने अपनी पोस्ट के जरिये की है।
अभय ने फोटो के साथ लिखा भी है। उनके अनुसार अमेरिका ने दुनिया को हिंसा दी है और इसे खतरनाक जगह बना दिया है और अब यह उन पर ही वापस आ रहा है। मैं यह नहीं कह रहा हूं कि वे इसके लायक हैं, बल्कि हमें इस तस्वीर को विस्तारपूर्वक और समग्रता के साथ देखना चाहिए।
अभय के अनुसार हमारे देश की समस्याओं पर भी सेलिब्रिटीज़ को विचार रखना चाहिए। मैं कह रहा हूं कि उनके नेतृत्व का पालन करें, लेकिन उनके कार्यों का नहीं। खबर लिखे जाने तक अभय की इस पोस्ट को 55 हजार से ज्यादा लाइक्स मिल चुके थे।
अभिनेत्री कंगना रनौट और राजनीतिज्ञ उमर अब्दुल्ला ने भी कहा है कि अमेरिकी समस्याओं के बारे में पोस्ट करने वाले सेलिब्रिटी भारत में होने वाले समान मुद्दों पर शायद ही कभी प्रकाश डालते हैं।
कंगना ने भी एक इंटरव्यू में कहा "यह शर्म की बात है कि वे अपने ही बुलबुले में रहते हैं और उस मुद्दे पर कूद पड़ते हैं जिसके जरिये उन्हें दो मिनट की प्रसिद्धि मिल सकती है।”