सिंह पार्टी के राज्य मुख्यालय पर आयोजित पत्रकारवार्ता को संबोधित कर रहे थे। एक प्रश्न के उत्तर में राजनाथसिंह ने कहा कि नरेन्द्र मोदी और भाजपा को अलग करके नहीं देखा जा सकता। उन्होंने प्रश्न का उत्तर देते हुए कहा कि जिस तरह कामराज ने इंडिया इज इंदिरा और इंदिरा इज इंडिया कहा था वैसे मोदी इंडिया हैं और इंडिया ही मोदी है, भाजपा ने कभी नही कहा।
उन्होंने कहा कि नरेन्द्र मोदी को प्रधानमंत्री पद के प्रत्याशी का निर्णय भाजपा की सर्वाधिकार प्राप्त समिति भाजपा केन्द्रीय संसदीय बोर्ड का फैसला है किसी एक का नहीं। उन्होंने भाजपा नेता मुरली मनोहर जोशी के बयान पर उठे विवाद पर कहा कि जोशी के बयान का बचाव करते हुए कहा कि जोशी जी के बयानों का सही अर्थ नही निकाला जा रहा है। सिंह ने प्रदेश की जनता से अपील की कि वे राष्ट्रहित में भाजपा को वोट दे।
राजनाथसिंह ने पूर्व प्रधानमंत्री अटलबिहारी बाजपेयी को यथार्थशास्त्री बताते हुए कहा कि वर्तमान प्रधानमंत्री, वित्तमंत्री और योजना आयोग के उपाध्यक्ष तीनों अर्थशास्त्री हैं, लेकिन अटलजी के कार्यकाल में भारत की आर्थिक विकास दर, मंहगाई पर नियंत्रण हुआ और जीडीपी का ग्रोथ रेट 8.4 प्रतिशत तक पहुंचा था। वहीं यूपीए शासन में महंगाई में भारी वृद्धि हुई। आर्थिक विकास दर नीचे आ गई। जीडीपी दर पांच प्रतिशत से भी कम हो गई।
उन्होंने कहा कि यदि पार्टी सत्ता में आती है तो राष्ट्रीय विकास दर में तेजी लाई जाएगी। उन्होंने न्यू पेंशन योजना के पुनरीक्षण की मांग की।
वाजपेयी राज में क्या था खास...