Dharma Sangrah

Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia

इन 6 लोगों को नहीं पीनी चाहिए छाछ, जानिए वजह

Advertiesment
हमें फॉलो करें Whom to Avoid Drinking Buttermilk

WD Feature Desk

, मंगलवार, 20 मई 2025 (17:51 IST)
Whom to Avoid Drinking Buttermilk: गर्मियों में जब पारा चढ़ने लगता है, तब एक ही चीज़ शरीर को ठंडक देती है और वह है, छाछ। यह पारंपरिक भारतीय पेय सिर्फ स्वाद में ही नहीं, बल्कि सेहत के लिहाज से भी बेहद फायदेमंद माना जाता है। दही से बनी छाछ में पाचन सुधारने, पेट को ठंडक देने और शरीर में इलेक्ट्रोलाइट्स को संतुलित रखने के गुण पाए जाते हैं। बहुत से लोग इसे भोजन के साथ या बाद में नियमित रूप से पीते हैं।
 
लेकिन क्या आप जानते हैं कि छाछ हर किसी के लिए फायदेमंद नहीं होती? जी हां, आयुर्वेद और आधुनिक चिकित्सा दोनों में कुछ विशेष स्थितियों में छाछ पीने की मनाही की गई है। कुछ लोगों के शरीर की प्रकृति, स्वास्थ्य स्थिति या दवाओं के प्रभाव के कारण छाछ उनके लिए हानिकारक साबित हो सकती है। इसलिए इस लेख में हम विस्तार से जानेंगे कि किन 6 तरह के लोगों को छाछ नहीं पीनी चाहिए, और क्यों।
 
1. अस्थमा या क्रॉनिक साइनस (नाक बंद रहना) से पीड़ित लोग
अगर किसी व्यक्ति को बार-बार नाक बंद होने, एलर्जी, जुकाम या अस्थमा की समस्या रहती है, तो छाछ पीना उनके लिए ठीक नहीं है। छाछ में शीतल गुण होते हैं जो शरीर को ठंडक पहुंचाते हैं, लेकिन ऐसे लोगों के लिए यह ठंडक हानिकारक हो सकती है। इससे बलगम बढ़ सकता है, जिससे सांस लेने में दिक्कत, खांसी या छाती में भारीपन हो सकता है। विशेष ध्यान दें, सुबह या रात के समय छाछ पीना ऐसे लोगों के लिए स्थिति और बिगाड़ सकता है।
 
2. इंटेस्टाइन की कमजोरी या इरिटेबल बॉवेल सिंड्रोम (IBS) वाले लोग
छाछ में प्रोबायोटिक बैक्टीरिया होते हैं जो सामान्य पाचन के लिए अच्छे माने जाते हैं। लेकिन जिन लोगों की आंतें संवेदनशील होती हैं या जिनको पेट में बार-बार मरोड़, दस्त या IBS की शिकायत रहती है, उनके लिए छाछ नुकसानदेह हो सकती है। छाछ उनके लिए गैस, ऐंठन, या जलन को बढ़ा सकती है। यह पेट की परत को उत्तेजित कर सकती है जिससे लूज़ मोशन की समस्या और बढ़ सकती है।
 
3. आर्थराइटिस (गठिया) या जोड़ों के दर्द से पीड़ित लोग
आयुर्वेद के अनुसार, छाछ एक ठंडी प्रकृति वाला पेय है जो वायु तत्व को बढ़ाता है। गठिया (arthritis) या जोड़ों के दर्द में वायु का असंतुलन मुख्य कारण माना जाता है। छाछ का सेवन करने से जोड़ों में सूजन या अकड़न बढ़ सकती है, जिससे दर्द और असहजता हो सकती है। अगर आप पहले से गठिया के मरीज़ हैं, तो डॉक्टर या वैद्य की सलाह के बिना छाछ का सेवन न करें।
 
4. सर्दी, खांसी और फ्लू से ग्रस्त लोग
छाछ का ठंडा असर उन लोगों के लिए बिल्कुल भी उचित नहीं है जो पहले से सर्दी, खांसी या वायरल बुखार से पीड़ित हैं। यह शरीर के तापमान को और गिरा सकती है, जिससे शरीर की प्रतिरोधक क्षमता (immunity) घट सकती है। विशेषकर बच्चों और बुजुर्गों को सर्दियों या मौसम बदलते वक्त छाछ से बचाना चाहिए।
 
5. हार्ट पेशेंट्स 
हालांकि छाछ में वसा कम होती है, लेकिन यदि उसमें ज्यादा नमक, भुना हुआ जीरा या अन्य मसाले मिलाए गए हों, तो यह ब्लड प्रेशर या दिल के मरीजों के लिए खतरनाक हो सकती है। हार्ट पेशेंट्स जिनके लिए सोडियम की मात्रा सीमित होती है, उन्हें रोज़ छाछ पीना नुकसान पहुंचा सकता है। कम नमक और सादा छाछ का सेवन यदि डॉक्टर की अनुमति हो, तभी करें।
 
6. जो लोग दवा या एंटीबायोटिक कोर्स पर हैं
छाछ एक प्राकृतिक प्रोबायोटिक है और इसमें जीवित बैक्टीरिया होते हैं जो सामान्यत: फायदेमंद होते हैं। लेकिन जब कोई व्यक्ति एंटीबायोटिक्स या भारी दवाएं ले रहा होता है, तब छाछ का सेवन दवा के असर को कम कर सकता है। कुछ मामलों में छाछ और दवा के बैक्टीरियल प्रभाव आपस में टकरा सकते हैं और इससे पाचन में गड़बड़ी या दवा का गलत असर हो सकता है। 


अस्वीकरण (Disclaimer) : सेहत, ब्यूटी केयर, आयुर्वेद, योग, धर्म, ज्योतिष, वास्तु, इतिहास, पुराण आदि विषयों पर वेबदुनिया में प्रकाशित/प्रसारित वीडियो, आलेख एवं समाचार जनरुचि को ध्यान में रखते हुए सिर्फ आपकी जानकारी के लिए हैं। इससे संबंधित सत्यता की पुष्टि वेबदुनिया नहीं करता है। किसी भी प्रयोग से पहले विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें। 

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

भारत में कोरोना का JN.1 वैरिएंट: जानिए कितना है खतरनाक और क्या हैं इसके प्रमुख लक्षण