अब राजनीतिक पार्टियां चुनाव प्रचार के परंपरागत तरीकों को छोड़कर हाईटेक तरीके अपना रही हैं। ऐसा ही कुछ पाकिस्तान में भी हुआ।
पाकिस्तान में विपक्षी पार्टियां यह दावा कर रही हैं कि सेना की वजह से इमरान खान को जीत मिली है, लेकिन इमरान के सफल चुनावी अभियान के पीछे 5 करोड़ वोटर्स का डेटाबेस और मोबाइल ऐप है। नेशनल असेंबली में पीटीआई को 116, नवाज शरीफ की पार्टी पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) को 64 और पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) को 43 सीटें मिलीं।
पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) ने भी मतदाताओं के डेटाबेस और ऐप का बखूबी इस्तेमाल किया। पीटीआई ने अपने इस प्लान को काफी दिनों तक गोपनीय रखा ताकि दूसरी पार्टियां इसकी नकल न कर लें। मोबाइल ऐप के जरिए उन लोगों को चुनाव के दिन पोलिंग बूथ तक लाया गया जिन्हें जगह ढूंढने में परेशानी हो सकती थी।