ISIL-K ने अफगानिस्तान में भारत, चीन, ईरान के दूतावासों पर हमले की दी धमकी, UN की रिपोर्ट से हुआ खुलासा

Webdunia
गुरुवार, 9 फ़रवरी 2023 (14:37 IST)
संयुक्त राष्ट्र। संयुक्त राष्ट्र ने एक रिपोर्ट में कहा है कि 'इस्लामिक स्टेट इन इराक एंड द लेवांत-खुरासान' (आईएसआईएल-के) ने अफगानिस्तान में भारत, ईरान और चीन के दूतावासों पर आतंकवादी हमले की धमकी दी है। आईएसआईएल द्वारा पैदा किए गए खतरे पर संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस की एक रिपोर्ट में यह खुलासा किया गया है।

इसमें कहा गया कि उन्हें निशाना बनाकर यह आतंकवादी समूह तालिबान और मध्य एवं दक्षिण एशिया क्षेत्र में संयुक्त राष्ट्र के सदस्य देशों के बीच संबंधों को कमजोर करना चाहता है। आईएसआईएल द्वारा पैदा किए गए खतरे पर संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस की एक रिपोर्ट में यह खुलासा किया गया है।

अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के लिए आईएसआईएल (दाएश) द्वारा पेश किए जाने वाले खतरे और इस खतरे का मुकाबला करने में सदस्य देशों की मदद के संयुक्त राष्ट्र के प्रयासों पर महासचिव की 16वीं रिपोर्ट में कहा गया है, आईएसआईएल-के मध्य एवं दक्षिण एशिया में बड़ा आतंकवादी खतरा है और अपने बाह्य अभियानों को अंजाम देने की समूह की मंशा बरकरार है।

सुरक्षा परिषद गुरुवार को ‘आतंकवादी कृत्यों के कारण अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के लिए खतरे’ पर एक बैठक आयोजित करेगी। इस दौरान संयुक्त राष्ट्र के आतंकवाद-विरोधी कार्यालय के अवर महासचिव व्लादिमीर वोरोनकोव पिछले सप्ताह जारी यह रिपोर्ट पेश करेंगे।

रिपोर्ट में कहा गया है कि आईएसआईएल-के ने खुद को तालिबान के प्राथमिक प्रतिद्वंद्वी के रूप में स्थापित किया और वह कथित रूप से यह दिखाना चाहता है कि तालिबान देश में सुरक्षा प्रदान करने में सक्षम नहीं है। इसमें कहा गया है, आईएसआईएल-के विभिन्न राजनयिक मिशन को निशाना बनाकर तालिबान और क्षेत्र के सदस्य देशों के बीच संबंधों को कमजोर करना चाहता था।

रिपोर्ट में कहा गया है, समूह ने अफगानिस्तान में चीन, भारत और ईरान के दूतावासों पर आतंकवादी हमले की भी धमकी दी थी। भारत ने अफगानिस्तान में तालिबान की सत्ता में वापसी के बाद मिशन से अपने अधिकारियों को वापस बुला लिया था। इसके 10 महीने बाद पिछले साल जून में भारत ने काबुल के दूतावास में एक तकनीकी दल भेजा था।

इस रिपोर्ट में आतंकवादी मकसद के लिए नई और उभरती प्रौद्योगिकियों के उपयोग का मुकाबला करने के संबंध में पिछले साल भारत में हुई संयुक्त राष्ट्र आतंकवाद विरोधी समिति की एक विशेष बैठक में अपनाए गए दिल्ली घोषणा पत्र का जिक्र किया गया है। इस रिपोर्ट में दिसंबर 2022 में सुरक्षा परिषद की भारत की अध्यक्षता में पारित बयान का भी संज्ञान लिया गया, जिसमें दिल्ली घोषणा पत्र को पारित किए जाने का स्वागत किया गया है।
Edited By : Chetan Gour (भाषा)

सम्बंधित जानकारी

Show comments

जरूर पढ़ें

Chandrayaan-3 को लेकर ISRO का बड़ा खुलासा, क्या सच होगा आशियाने का सपना

Disha Salian Case से Maharashtra में सियासी भूचाल, अब नारायण राणे का बयान, उद्धव ठाकरे का 2 बार आया कॉल

Airlines ने लंदन हीथ्रो Airport पर फिर शुरू कीं उड़ानें, आग लगने से 18 घंटे बाधित था परिचालन

नागपुर हिंसा पर CM फडणवीस का नया बयान, दंगाइयों से होगी नुकसान की वसूली, नहीं चुकाने पर चलेगा बुलडोजर

Microsoft और Google को टक्कर देने की तैयारी में मोदी सरकार, बनाएगी Made in India वेब ब्राउजर

सभी देखें

नवीनतम

कपिल सिब्बल का दावा, लोगों के एक बड़े वर्ग को चुनाव आयोग पर भरोसा नहीं

असम में पेपर लीक, कक्षा 11वीं की परीक्षाएं रद्द

बोइंग ने भारत में की छंटनी, 180 कर्मचारियों को बाहर का रास्ता दिखाया

LIVE: पीएम मोदी ने दी भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु को श्रद्धांजलि

एयर इंडिया पर भड़के डेविड वार्नर, कहा पायलट नहीं तो विमान में क्यों बैठाते हो?

अगला लेख