ओबामा और कास्त्रो के बीच ऐतिहासिक मुलाकात

Webdunia
मंगलवार, 22 मार्च 2016 (09:18 IST)
हवाना। क्यूबा के ऐतिहासिक तीन दिवसीय दौरे पर आए अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने क्यूबा के अपने समकक्ष राउल कास्त्रो से राष्ट्रपति भवन में मुलाकात की।  
 
पिछले 57 साल के दौरान दोनों देशों के राष्ट्र प्रमुखों की यह पहली द्विपक्षीय बैठक थी। राजधानी हवाना स्थित 'पैलेस ऑफ द रेवोल्यूशन' इस ऐतिहासिक बैठक का गवाह बना। इस दौरान ओबामा ने क्यूबा में आर्थिक और राजनीतिक सुधारों का मसला उठाया तो वहीं कास्त्रो ने क्यूबा पर लगे अमेरिकी प्रतिबंधों को हटाने की मांग दोहराई। 
    
ओबामा और कास्त्रो की इस सीधी बात पर पूरी दुनिया की नजरें टिकी हुईं थी। हालांकि दोनों के बीच इससे पहले भी तीन बार मुलाकात हो चुकी है। वर्ष 2013 और पिछले साल अप्रैल व सितंबर में दोनों की भेंट के दौरान द्विपक्षीय संबंधों पर चर्चा नहीं हो पाई थी। शीतयुद्ध काल के दोनों प्रतिद्वंद्वियों ने दशकों की कटुता को पीछे छोड़कर दिसंबर 2014 में राजनयिक संबंध बहाल करने का फैसला किया था। संबंधों को नया मोड़ देने के मकसद से ओबामा रविवार को तीन दिन की यात्रा पर क्यूबा पहुंचे।
    
ओबामा पिछले 88 वर्षों के दैरान इस लैटिन अमेरिकी देश की यात्रा पर आने वाले पहले अमेरिकी राष्ट्रपति हैं। अपनी पत्नी मिशेल ओबामा और दोनों बेटियों के साथ ओबामा ने जब हवाना की जमीन पर कदम रखा तो हल्की बारिश हो रही थी। ओबामा हाल ही में यहां पर खुले अमेरिकी दूतावास भी पहुंचे। यहां कर्मचारियों को संबोधित करते हुए उन्होंने अपनी यात्रा को क्यूबा की जनता के साथ सीधे संवाद का ऐतिहासिक क्षण बताया। 
 
ओबामा मंगलवार को दूतावास में मानवाधिकार कार्यकर्ताओं से भी मिलेंगे और फिर मीडिया को भी संबोधित करेंगे। इसके बाद बेसबॉल मैच का आनंद लेकर वह परिवार सहित स्वदेश लौट जाएंगे। हालांकि इस दौरे में ओबामा की क्यूबा के पूर्व राष्ट्रपति तथा क्रांतिकारी नेता फिदेल कास्त्रो से मुलाकात नहीं होगी। इसका कारण पूर्व राष्ट्रपति का खराब स्वास्थ्य बताया गया है, स्वास्थ्य कारणों से ही उन्होंने 2008 में अपने छोटे भाई राउल कास्त्रो को देश की बागडोर सौंपी थी।
    
गौरतलब है कि क्यूबा की क्रांति के दौरान वर्ष 1959 में अमेरिका समर्थित सरकार का तख्तापलट हुआ था जिसके बाद से दोनों देशों के बीच राजनयिक रिश्ते समाप्त हो चुके थे। (वार्ता)    
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