रतन टाटा : आर्थिक परिदृश्य खराब नहीं

Webdunia
बुधवार, 28 नवंबर 2012 (22:09 IST)
FILE
टाटा समूह के प्रमुख रतन टाटा ने कहा है भारत में भले ही सत्ता परिवर्तन जल्दी-जल्दी हुआ हो, लेकिन वहां का आर्थिक परिदृश्य उतना खराब नहीं है, जितना कोई सोचता है।

हालांकि टाटा के अनुसार वे अनुभव करते हैं कि भारतीय मूल्य और आचार नीति धीरे-धीरे घटी है। यह गिरावट खासकर व्यापारिक समुदाय में देखी जा रही है। यूनिवर्सिटी ऑफ न्यू साउथ वेल्स द्वारा 'डॉक्टरेट ऑफ बिजनेस' की मानद उपाधि दिए जाने के मौके पर उन्होंने यह बात कही।

उन्होंने स्पष्ट किया कि उनका समूह मजबूत आचार नीति पर आधारित है और कभी भी भ्रष्टाचार तथा रिश्वत में शामिल नहीं होगा। समाचार पत्र 'द ऑस्ट्रेलियन' ने उनके हवाले से कहा है, भारत में भले ही सत्ता में जल्दी-जल्दी बदलाव आएं, लेकिन आर्थिक परिदृश्य इतना बुरा नहीं है, जितना कि आप सोचते हैं। टाटा ने कहा कि वे उम्मीद करते हैं कि चीन लोकतंत्र की ओर बढ़ेगा।

उन्होंने यह भी कहा कि लोकतांत्रिक देशों को उन चीजों को लागू करने के लिए कदम उठाना होगा, जो वे चाहते हैं। अगर उन्हें आगे बढ़ना है तो यह जरूरी है। ऑस्ट्रेलिया तथा भारत को द्विपक्षीय व्यापारिक संबंधों, खासकर उच्च प्रौद्योगिकी क्षेत्रों में रिश्तों को मजबूत बनाना चाहिए।

ऑस्ट्रेलिया के बारे में टाटा ने कहा, ऑस्ट्रेलिया गतिशील देश है। उन्होंने कहा कि उच्च प्रौद्योगिकी के मामले में कई ऐसे क्षेत्र है, जहां ऑस्ट्रेलिया आगे है और भारत इससे लाभान्वित हो सकता है। ऑस्ट्रेलिया तथा भारत के बीच व्यापार 2011 में बढ़कर 21 अरब डॉलर का हो गया, जो 2000 में 3.1 अरब डॉलर का था। (भाषा)

Show comments

न कार, न घर, जानिए कितनी संपत्ति के मालिक हैं उमर अब्‍दुल्‍ला?

Gaza: मलबे में 10 हज़ार से ज्‍यादा लोगों के दबे होने की आशंका

क्या गांधी परिवार ने अमेठी छोड़कर सही किया? भाजपा हुई हमलावर

मोदी सरकार के दिन अब गिने-चुने, राजगढ़ में गरजे सचिन पायलट

चिराग पासवान ने किया अंबेडकर की मूर्ति पर माल्यार्पण, लोगों ने मूर्ति को दूध से धोया

सुप्रीम कोर्ट ने दी अहम सलाह, सहनशीलता और सम्मान एक अच्छे विवाह की नींव

CID ने दर्ज किया प्रज्वल रेवन्ना के खिलाफ यौन शोषण का आरोप

बुरे फंसे बम! अक्षय को कोर्ट ने अग्रिम जमानत देने से किया इंकार

प्रियंका का प्रहार, मोदी को सत्ता का अहंकार, जनता से कट चुके हैं PM

ममता बोलीं- राजभवन में काम करने वाली महिला की व्यथा सुन मेरा दिल रो पड़ा