जीवन का दर्पण है हथेली का रंग, जानिए क्या कहता है...

Webdunia
हथेली के रंग जातक के जीवन का एक दर्पण है। ज्योतिष के अनुसार किसी का भी हाथ देखते समय जातक की हथेली के रंग को भी ध्यानपूर्वक देखना चाहिए।

मात्र हथेली को थोड़ा स्पर्श कर दबाने से रंग परिवर्तन होता है और यही रंग परिवर्तन जातक के स्वाभाविक जीवन के मूल्यों को आंकने का एक तरीका हस्त परीक्षक को मिलता है। आइए जानें क्या कहता हैं अापकी हथेली का रंग... 
 
1. सफेद रंग रक्त की कमी से भी हो सकता है। स्वच्छ सफेद रंग आध्यात्मिक शक्ति का प्रतीक भी कहा जा सकता है।
 
2. हथेली में लाल रंग वाले क्रोधी स्वभाव, अदूरदर्शिता, विवेकहीन, अविश्वासी व सनकी होते हैं। हथेली में पसीना व मटमैलापन भी इन्हीं बातों को दर्शाता है। 
 
3. नीले रंग की हथेली रक्त विकार, रोगी जीवन के प्रति उदासीनता का प्रतीक है। 
 
4. हथेली पीले रंग लिए हुए हो तो जातक में रक्त की कमी, किसी न किसी रोग से पीड़ित, मंदबुद्धि, कर्महीन, अस्वस्थ अर्थात जीवन में असफलताओं का सामना करते रहना।
 
5.  हथेली का रंग गुलाबी हो तो जातक स्वस्थ, प्रेम, दया, करुणा का सागर, सहृदय, शालीन, परिश्रमी, भावुक, उन्नतिशील, उच्च आदर्श विचार वाला, जीवन जीने की कला का गुणी अर्थात सभी मानवीय गुणों का पारखी धनी होगा।
 
6. हथेली में काले एवं धब्बेदार रंग वाला जातक दुष्प्रवृत्ति का होगा अर्थात जीवन असफलताओं से भरा हुआ होगा।
 

सम्बंधित जानकारी

Show comments

ज़रूर पढ़ें

इस मंदिर में है रहस्यमयी शिवलिंग, दिन में तीन बार बदलता है रंग, वैज्ञानिक भी नहीं जान पाए हैं रहस्य

महाशिवरात्रि पर शिवलिंग पर भूलकर भी ना चढ़ाएं ये चीजें, रह जाएंगे भोलेनाथ की कृपा से वंचित

सूर्य की शत्रु ग्रह शनि से युति के चलते 4 राशियों को मिलेगा फायदा

असम में मौजूद है नॉर्थ ईस्ट का सबसे ऊंचा शिव मंदिर, महाशिवरात्रि पर उमड़ता है श्रद्धालुओं का सैलाब

Mahashivaratri 2025: महाशिवरात्रि पर शिवलिंग की पूजा का शुभ मुहूर्त, पूजन विधि, आरती और कथा सभी एक साथ

सभी देखें

नवीनतम

Astrology weekly muhurat: फरवरी के तीसरे सप्ताह का पंचांग कैलेंडर, जानें नए हफ्ते के सर्वश्रेष्ठ मुहूर्त

Aaj Ka Rashifal: आज इन जातकों को मिलेगा हर क्षेत्र में लाभ, पढ़ें अपनी राशिनुसार 18 फरवरी का राशिफल

18 फरवरी 2025 : आपका जन्मदिन

18 फरवरी 2025, मंगलवार के शुभ मुहूर्त

महाशिवरात्रि पर रात्रि के 4 प्रहर की पूजा का सही समय और पूजन विधि

अगला लेख