पीएम मोदी के मंत्र को साकार करें हम : शिवराज

Webdunia
मंगलवार, 15 अगस्त 2017 (14:11 IST)
भोपाल। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान ने मंगलवार को आजादी के 71 वर्ष पूरे होने पर प्रदेश की जनता का आह्वान करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 'संकल्प से सिद्धि' के मंत्र को प्रदेश में साकार करने की कोशिश करते हुए हर नागरिक अपने कर्त्तव्यों का भी पालन करे।
 
राजधानी भोपाल स्थित मोतीलाल नेहरू स्टेडियम में स्वतंत्रता दिवस के राज्य स्तरीय भव्य, आकर्षक और गरिमामय मुख्य कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री चौहान ने आकर्षक परेड की सलामी ली।
 
इसके बाद अपने संबोधन में चौहान ने कहा कि प्रधानमंत्री ने भारत को आतंकवाद, गरीबी, जाति-संप्रदाय, अस्वच्छता और भ्रष्टाचार मुक्त करने का आह्वान किया है। उनके संकल्प से सिद्धि के मंत्र को हम मध्यप्रदेश में साकार करें।
 
अपनी बात को विस्तार देते हुए उन्होंने प्रदेश में दस्युओं के सफाए, गुंडों की अराजकता रोकने और नक्सलवाद पर लगाम लगाने की पहल का जिक्र करते हुए कई आला अधिकारियों का नाम लेकर उन्हें बधाई भी दी। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने आतंकवाद मुक्त करने की बात की थी, प्रदेश में उस मंत्र पर काम करते हुए सभी प्रकार के आतंकवाद को थामने की कोशिशें लगातार जारी हैं।
 
वहीं भ्रष्टाचार मुक्ति का संदर्भ देते हुए चौहान ने कहा कि कई अधिकारी बेहतर काम कर रहे हैं, जिन्हें पुरस्कृत किया जाएगा। वहीं गड़बड़ी करने वालों को चेतावनी देने के लहजे में उन्होंने कहा कि ऐसे एक अधिकारी को अभी प्रदेश में अनिवार्य सेवानिवृत्ति दी गई है, गलत आचरण रखने वाले परिणाम भुगतने के लिए तैयार रहें। 
 
राजस्व प्रकरणों के नामांतरण के लिए चलाए गए विशेष अभियान का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि तीन महीने बाद अगर कोई प्रदेश में अविवादित नामांतरण का मामला सामने ले आया तो उसे तीन लाख रुपए का इनाम दिया जाएगा और ये राशि उसके लिए जिम्मेदार अधिकारी की तनख्वाह से काटी जाएगी।
 
अपने करीब 40 मिनट के संबोधन में मुख्यमंत्री चौहान ने प्रदेश में किसानों, गरीबों, विद्यार्थियों और अन्य वर्गों के लिए चलाई जा रही योजनाओं का भी जिक्र किया।
 
चौहान ने प्रदेशवासियों का आह्वान करते हुए कहा कि सभी लोग सप्ताह में कम से कम दो घंटे किसी ऐसे काम से जुड़ें, जो उनके नागरिक कर्त्तव्यों की पूर्ति करे। उन्होंने लोगों से आनंद विभाग के कार्यक्रम 'आनंदम्' और शिक्षा विभाग के कार्यक्रम 'मिल-बांचें' से भी जुड़ने की अपील की।
 
नर्मदा सेवा यात्रा का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश उन प्रदेशों में से है, जहां विकास और पर्यावरण में संतुलन स्थापित किया जा रहा है, सभी लोगों को भी कम से कम एक पौधा अवश्य लगाना चाहिए। (वार्ता) 
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