Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia
Advertiesment

आज है झारखंड स्थापना दिवस : जानिए झारखंड के 10 दर्शनीय स्थल

हमें फॉलो करें आज है झारखंड स्थापना दिवस : जानिए झारखंड के 10 दर्शनीय स्थल

अनिरुद्ध जोशी

संसद द्वारा बिहार पुनर्गठन अधिनियम 2000 पारित किया गया और 15 नवंबर को झारखंड स्‍थापना दिवस मनाया गया। आओ जानते हैं कि झारखंड में धूमने लायक खास 10 पर्यटन स्थलों की संक्षिप्त जानकारी।
 
 
1. वैद्यनाथ धाम : शिवजी के 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक वैद्यनाथ धाम ज्योतिर्लिंग झारखंड के देवघर में स्थित है। यहां पर नंदन पहाड़, सत्संग आश्रनम और माता के शक्तिपीठों में से एक जय दुर्गा शक्तिपीठ स्थित है। यहां माता सती का हृदय गिरा था, जिस कारण यह स्थान ‘हार्दपीठ’ से भी जाना जाता है। इसकी शक्ति है जयदुर्गा और शिव को वैद्यनाथ कहते हैं। बैद्यनाथ धाम में भगवान शंकर के द्वादश ज्योतिर्लिंगों में नौवां ज्योतिर्लिंग है। यहां ज्योतिर्लिंग के साथ शक्तिपीठ भी है। यही कारण है कि इस स्थल को ‘हृदय पीठ’ या ‘हार्द पीठ’ भी कहा जाता है।
 
 
2. हजारीबाग : यह स्थान झारखंड राज्य की राजधानी रांची से करीब 96 किलोमीटर दूर है, जहां पर आप घने जंगलों, रॉक संरचनाओं, सुन्दर सुन्दर झीलों और प्राकृति के सुंदर नजारों का आनंद उठा सकते हैं। हजारीबाग के प्रमुख आकर्षण में कैनेरी हिल, राजरप्पा मंदिर और वाइल्ड लाइफ सेंचुरी आदि शामिल हैं।
 
3. शिखरजी : यह स्‍थान जैन धर्म के प्रमुख तीर्थों में से एक है। कहते हैं कि यहां पर पारसनाथ पहाड़ी पर 24 जैन तीर्थकरों को मोक्ष की प्राप्ति हुई थी। इसकी चोटी को शिखरजी कहते हैं। शिखरजी पर्यटन स्थल समुद्र तल से लगभग 1350 मीटर की ऊंचाई पर स्थित हैं। यहां पर घूमने के लिए बड़ी संख्या में पर्यटक आते रहते हैं। चारों ओर हरियाली और ऊंचे पर्वतों को देखना अद्भुत है।
 
webdunia
4. छिन्नमस्तिके मंदिर : झारखंड की राजधानी रांची से लगभग 79 किलोमीटर की दूरी रजरप्पा के भैरवी-भेड़ा और दामोदर नदी के संगम पर स्थित मां छिन्नमस्तिके का यह मंदिर है। रजरप्पा की छिन्नमस्ता को 52 शक्तिपीठों में शुमार किया जाता है। यह मंदिर लगभग 6000 साल पुराना बताया जाता है। इसके साथ ही बालूमाथ और औद्योगिक नगरी चंदवा के बीच एनएच-99 रांची मार्ग पर नगर नामक स्थान में एक अति प्राचीन मंदिर है जो भगवती उग्रतारा को समर्पित है। यह एक शक्तिपीठ है। मान्यता है कि यह मंदिर लगभग एक हजार वर्ष पुराना है। मां भगवती उभ्रतादारा के दक्षिणी और पश्चिमी कोने पर स्थित चुटुबाग नामक पर्वत पर मां भ्रामरी देवी की गुफाएं हैं, जहां कई स्थानों पर बूंद-बूंद पानी टपकता रहता है। कहते हैं कि यहां करीब सत्तर फीट नीचे सतयुगी केले का वृक्ष है, जो वर्षों पुराना होने के बावजूद आज भी हराभरा है। इसमें फल भी लगता है। बालूमाथ से 25 किलोमीटर दूर प्रखंड के श्रीसमाद गांव के पास तितिया या तिसिया पहाड़ के पास पुरातत्व विभाग को चतुर्भुजी देवी की एक मूर्ति मिली है, जिसके पीछे अंकित लिपि को अभी तक पढ़ा नहीं जा सका है। यह लिपि न तो ब्राह्मी है और न ही देवनागरी या भारत की अन्य कोई लिपि।
 
 
5. बेतला नेशनल पार्क : यदि आप जंगल घूमने का शौक रखते हैं तो बेतला राष्ट्रीय उद्यान एक खूबसूरत राष्ट्रीय उद्यान है। यहां जंगली हाथी और तेंदुए, बाघ के अलावा भी कई जानवर हैं जोकि यहां आने वाले पर्यटकों को लुभाते हैं। बेतला राष्ट्रीय उद्यान का लगभग क्षेत्रफल 979 वर्ग किमी में फैला है।
 
6. लोध वॉटरफॉल : दशम जलप्रपात 144 फीट की ऊंचाई से नीचे गिरता हैं जोकि रांची जिले के तैमारा गांव के निकट सुवर्ण रेखा नदी की सहायक नदी पर स्थित है। चट्टानी ढलानों के साथ दशम वॉटरफॉल एक शानदार डेस्टिनेशन हैं जहां बहुत अधिक संख्या में पर्यटक घूमने के लिए जाते हैं। लोध वॉटरफॉल झारखंड का सबसे ऊंचाई से गिरने वाला फॉल है जो बूढ़ा नदी पर स्थित है। यह लगभग 450 मीटर की ऊंचाई से नीचे गिरता है। यह लातेहार जिले में महुआडांड से 14 किलोमीटर दूर स्थित है।
 
 
7. बेनीसागर : पश्चिम सिहभूम के अंतिम छोर पर उड़ीसा की सीमा रेखा पर स्थित यह प्रमुख धार्मिक और दर्शनीय स्थलों में से एक है। यहां प्राचीन काल की 32 छोटी छोटी मूर्तियां, 7 शिवलिंग, 2 बड़े पत्थरों पर प्राचीन पाली एवं प्राकृत लिपि के शिलालेख मौजूद हैं।
 
8. किरीबुरू : यह झारखंड के सबसे घने जंगल सारंडा में स्थित है। इसे 700 पहाड़ियों की भूमि भी कहा जाता है। यहां के घने जंगल, पहाड़, माइनिंग, दलदल, सूर्योदय, सूर्यास्त और जंगली जानवरों का देखना किसी रोमांच और खतरे से कम नहीं है। 
 
9. जुबली झील : जमशेदपुर स्थित जुबली नामक झील की सैर का आनंद लेने के यहां दूर दूर से पर्यटक आते हैं। इस झील को जयंती सरोवर के नाम से भी जाना जाता है।
 
10. नेतरहाट लातेहार : 'छोटानागपुर की रानी' के नाम से प्रसिद्ध यह एक हिल स्टेशन है। यहां सूर्योदय और सूर्यास्त का दृश्य बड़ा ही मनमोहक होता है।

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

'द रॉक' ने जताई बॉलीवुड फिल्मों में काम करने की इच्छा, बोले- भविष्य में उन्हें अगर ऑफर आएगा तो...