नई दिल्ली। डीडीएमए के कोविड-19 संबंधी नए दिशा-निर्देश तहत दिल्ली में सार्वजनिक स्थानों, नदी के तटों पर छठ समारोह आयोजित करने की अनुमति नहीं दी है। त्योहारों के दौरान मेलों, खाने-पीने के स्टॉल को भी मंजूरी नहीं मिलेगी। उत्सवों के आयोजनों में खड़े होने या जमीन पर बैठने की अनुमति नहीं दी जाएगी तथा सामाजिक दूरी के नियम का पालन करते हुए केवल कुर्सियों पर बैठने की अनुमति रहेगी।
दिल्ली के घाटों पर छठ पूजा मनाने वालों को इस साल भी निराशा हाथ लगी है। दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) ने सरकार के प्रस्ताव को खारिज करते हुए सार्वजनिक जगहों पर छठ पूजा करने पर प्रतिबंध लगा दिया है। हालांकि जो लोग अपने घर में छठ मनाना चाहते हैं, वे मना सकते हैं, लेकिन इस दौरान कोरोना नियमों का पालन करना होगा।
दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) ने दिल्ली सरकार की ओर से छठ पूजा के आयोजन के लिए भेजे गए प्रस्ताव को खारिज कर दिया है। डीडीएमए द्वारा जारी आदेश में साफ कहा गया है कि दिल्ली में किसी भी नदी, तालाब किनारे, मंदिर या अन्य जगहों पर जो घाट बनाए गए हैं, वहां इस बार भी यह पर्व मनाने को इजाजत नहीं होगी, जो लोग छठ पर्व मानते हैं वे घरों में ही मनाएं।
डीडीएमए ने कहा कि कोविड के मौजूदा हालात को देखते हुए यह फैसला लिया है। डीडीएमए ने कहा है कि छठ का आयोजन सार्वजनिक स्थलों पर नहीं होगा, लेकिन कोई निजी तौर पर अपने निजी स्थल पर मनाना चाहता है तो कर सकता है। इस दौरान भीड़, सामाजिक दूरी समेत कोविड से बचाव के सभी उपाय होने चाहिए। इस वर्ष 10 और 11 नवंबर को छठ पूजा है।(फ़ाइल चित्र)