जिस घर में उठनी थी बहन की डोली, वहां निकला आतंकी भाई का जनाजा

सुरेश डुग्गर
मंगलवार, 11 सितम्बर 2018 (20:09 IST)
श्रीनगर। कश्मीर में एक बहन की डोली इसलिए नहीं उठ पाई क्योंकि जिस दिन उसका निकाह था उसी दिन उसका आतंकी भाई सुरक्षाबलों के हाथों मारा गया और डोली के फूलों से आतंकी भाई की अर्थी को सजा कर निकाला गया। 
 
आतंकी लियाकत अहमद लोन की बहन की मंगलवार को डोली उठनी थी। लेकिन लियाकत की अर्थी उठी। लगभग दो माह से लापता लियाकत का कोई सु़राग नहीं मिल रहा था। परिजनों को उम्मीद थी कि वह बहन की शादी पर घर जरूर आएगा, लेकिन किसी ने यह नहीं सोचा था कि वह डोली को कंधा देने नहीं बल्कि अपने परिजनों का कंधा लेने आएगा।
 
मंगलवार को उसकी बहन की शादी थी। दोपहर बाद घर में बारात आनी थी और उसके बाद लियाकत की बहन को अपनी ससुराल रुखसत होना था। घर में शादी की तैयारियां चल रही थीं। सबको बारातियों का इंतजार था। अचानक एक फोन आया और फिर शादी के गीत बंद हो गए, खुशियां मातम में बदल गईं, क्योंकि लियाकत गलूरा में सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में मारा गया था।
 
काश उसने यह रास्ता न चुना होता... : शादी की तैयारियां जहां थी, वहीं थम गईं। बारातियों के स्वागत की जगह घर में एक अर्थी की तैयारी शुरू हो गई। खानदान के कुछ बुजुर्ग और नौजवान सदस्य लियाकत का शव लेने हंदवाड़ा के लिए रवाना हो गए। उसके परिवार के एक सदस्य ने सिर्फ इतना ही कहा कि किसी को उम्मीद नहीं थी कि वह बंदूक का रास्ता चुनेगा। काश, उसने यह रास्ता न चुना होता तो आज उसके जनाजे को कंधा नहीं दिया जा रहा होता और उसकी बहन की शादी में मातम नहीं होता, वह अपनी बहन को डोली में बैठा रहा होता।
 
सोपोर का रहने वाला लियाकत अहमद लोन इसी साल आठ जुलाई को अचानक अपने घर से लापता हो गया था। तीन बच्चों का बाप लियाकत जब घर से निकला तो किसी को गुमान नहीं था कि वह आतंकी बन गया है। हालांकि इलाके में उसके आतंकी बनने की चर्चा थी, लेकिन किसी के पास कोई सबूत नहीं था। पुलिस भी उसे जगह-जगह तलाश रही थी। लेकिन, कोई सुराग नहीं मिल रहा था। बस घरवाले एक ही उम्मीद में थे कि बहन की शादी पर लियाकत कहीं भी होगा, घर जरूर आएगा। क्योंकि वह अपनी बहन से बहुत प्यार करता था।
 
सुरक्षाबलों ने घेरा और मार दिया : दरअसल, लश्कर के दो आतंकियों के गलूरा गांव में अपने एक संपर्क सूत्र के पास छिपे होने की खबर मिलते ही आज तड़के सेना की 30 आरआर, सीआरपीएफ की 92वीं वाहिनी और राज्य पुलिस विशेष अभियान दल एसओजी के जवानों ने संयुक्त रूप से एक अभियान चलाया। जवानों ने आतंकी ठिकाने की घेराबंदी कर ली। जवानों को अपने ठिकाने की तरफ बढ़ते देख आतंकियों ने वहां से भागने का प्रयास करते हुए गोली चलाईं। जवानों ने तुरंत अपनी पोजीशन ली और जवाबी फायर किया।
 
सुरक्षाबलों ने आतंकी ठिकाने के साथ सटे मकानों से लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया। उन्होंने आतंकियों को सरेंडर करने के लिए कई बार कहा, लेकिन उन्होंने फायरिंग जारी रखी। सुबह साढ़े सात बजे आतंकियों की तरफ से अंतिम गोली चली। इसके बाद सुरक्षाबलों ने मुठभेड़ स्थल की तलाशी ली और दो आतंकियों के शव व उनके हथियार बरामद किए। मारे गए आतंकियों की पहचान हारवन सोपोर के लियाकत और लंगेट हंदवाड़ा के 18 वर्षीय फुरकान के रूप में हुई है। 

सम्बंधित जानकारी

Show comments

जरूर पढ़ें

India-Pakistan War : पाकिस्तान पर काल बनकर बरसीं ये स्वदेशी मिसाइलें, आतंक के आका को सदियों तक रहेगा भारतीय हमले का सदमा

डोनाल्ड ट्रंप ने दिया संकेत, भारत ने की अमेरिकी वस्तुओं पर शुल्क घटाने की पेशकश

भारत और PAK के बीच मध्यस्थता वाले बयान से पलटे Donald Trump, बोले- मैंने मदद की

कर्नल सोफिया कुरैशी के बाद अब विंग कमांडर व्योमिका सिंह पर विवादित बयान, जानिए रामगोपाल यादव ने क्या कहा

Donald Trump ने Apple के CEO से कहा- भारत में बंद करें iPhone बनाना, सबसे ज्यादा टैरिफ वाला देश, बेचना मुश्किल

सभी देखें

नवीनतम

हरियाणा में पकड़ाया पाकिस्तानी जासूस, ISI को भेज रहा था खुफिया जानकारी

MP : सरकारी कार्यशाला में विजय शाह की फोटो पर भड़के अफसर, मंत्री की जगह लगाई PM मोदी की तस्वीर

Ceasefire को लेकर भारत और पाक के DGMO ने की बात, Pakistan के विदेश मंत्री डार ने किया यह दावा

Tahawwur Rana : तहव्वुर राणा को मिलेगी उसके हर गुनाह की सजा, बनी 5 वकीलों की टीम, जनरल तुषार मेहता अध्यक्ष

जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में मुठभेड़, 3 आतंकी ढेर, 3 राइफल और 3 ग्रेनेड बरामद

अगला लेख