नई दिल्ली। कुछ समय पहले अटकलें थीं कि केन्द्र सरकार 5 राज्यों के विधानसभा चुनाव के बाद पेट्रोल और डीजल का दाम बढ़ा सकती है, लेकिन वर्तमान वैश्विक परिस्थितियों के मद्देनजर हालात उलट बन रहे हैं। अब माना जा रहा है कि पेट्रोल-डीजल पर लोगों को राहत मिल सकती है।
दरअसल, इंटरनेशनल मार्केट में कच्चे तेल के दाम लगातार तीन सप्ताह तक 100 डॉलर प्रति बैरल से ऊपर रहने के बाद अब कम होकर 100 डॉलर प्रति बैरल से नीचे आ गए हैं। इससे पहले क्रूड ऑयल 7 मार्च को 14 वर्ष के उच्चतम स्तर 139 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच गया था। माना जा रहा है कि कच्चे तेल के भाव में नरमी से खुदरा तेल कंपनियों पर मार्जिन दबाव कम हुआ है।
पेट्रोल और डीजल के दाम कम होने को लेकर एक और बड़ा कारण सामने आ रहा है। कहा जा रहा है कि भारत रूस से सस्ती दरों पर कच्चा तेल खरीदे की तैयारी कर रहा है। डील के मुताबिक भारत 35 लाख बैरल कच्चा तेल रूस से खरीद सकता है। इस डील में शिपिंग और इंश्योरेंस की जिम्मेदारी भी रूस की ही होगी।
अमेरिका को भी आपत्ति नहीं : दूसरी ओर, यदि भारत रूस से कच्चा तेल लेता है तो अमेरिका का भी कोई आपत्ति नहीं होगी। वॉशिंगटन। व्हाइट हाउस ने कहा है कि भारत का रूस से रियायती दर पर कच्चा तेल लेना अमेरिकी प्रतिबंधों का उल्लंघन नहीं माना जाएगा। साथ ही उसने कहा कि देशों को यह विचार करना चाहिए कि यूक्रेन पर रूस के हमले के बीच आप कहां खड़ा होना चाहते हैं।
अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने पिछले हफ्ते रूस से तेल और गैस के आयात पर प्रतिबंध लगाने की घोषणा की थी। व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव जेन साकी ने मंगलवार को कहा कि किसी भी देश के लिए हमारा संदेश यही है कि हमने जो प्रतिबंध लगाए हैं और अनुशंसित किए हैं, उनका पालन करें।
भारत द्वारा रियायती दर पर कच्चे तेल की रूसी पेशकश को स्वीकार करने की संभावना वाली एक रिपोर्ट के बारे में पूछे जाने पर साकी ने कहा कि मुझे नहीं लगता कि यह उन (प्रतिबंधों) का उल्लंघन होगा।
132वें दिन भी दाम स्थिर : अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल की कीमतों में लगातार चल रहे उतार-चढ़ाव के बावजूद घरेलू स्तर पर लगातार 132वें दिन भी पेट्रोल और डीजल के दाम स्थिर रहे। अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत मंगलवार के मुकाबले बुधवार को 2.90 प्रतिशत बढ़कर 102.81 डॉलर प्रति बैरल पर थी।
केंद्र सरकार द्वारा पेट्रोल और डीजल पर उत्पाद शुल्क में क्रमशः 5 और 10 रुपए घटाने की घोषणा के बाद 4 नवंबर 2021 को ईंधन की कीमतों में तेजी से कमी आई थी। इसके बाद राज्य सरकार के मूल्य वर्धित कर (वैट) कम करने के फैसले के बाद राजधानी दिल्ली में भी वैट को कम करने का निर्णय लिया गया। इसके बाद राजधानी में 2 दिसंबर 2021 को पेट्रोल लगभग 8 रुपए सस्ता हुआ था। डीजल की कीमतें हालांकि जस की तस बनी रहीं।