नई दिल्ली। पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीतसिंह चन्नी के गिरफ्तार भानजे भूपिंदर सिंह उर्फ हनी ने 'कबूल' किया है कि सीमावर्ती राज्य में बालू खनन से जुड़ी गतिविधियों और अधिकारियों की नियुक्ति अथवा तबादले में मदद करने के एवज में उसे 10 करोड़ रुपए नकद मिले थे।
प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने सोमवार को जारी एक बयान में यह दावा किया। केंद्रीय जांच एजेंसी ने पंजाब में कथित अवैध बालू खनन से जुड़ी मनी लांड्रिंग जांच के सिलसिले में हनी को 3 फरवरी को गिरफ्तार किया था। जांच एजेंसी ने 18 जनवरी को हनी और अन्य के खिलाफ छापेमारी की कार्रवाई की थी। इस दौरान हनी के ठिकाने से लगभग 7.9 करोड़ रुपए, जबकि उससे जुड़े संदीप कुमार नाम के व्यक्ति के परिसर से लगभग 2 करोड़ रुपए जब्त किए गए थे।
ईडी ने अपने बयान में कहा कि छापेमारी के दौरान उसने कुदरतदीप सिंह, भूपिंदर सिंह (हनी), हनी के पिता संतोख सिंह और संदीप कुमार के बयान दर्ज किए तथा इन बयानों से यह स्थापित हुआ है कि 10 करोड़ रुपए की जब्त राशि भूपिंदर सिंह, पुत्र संतोख सिंह की थी।
बयान में दावा किया गया है कि भूपिंदर सिंह ने कबूला है कि उसे बालू खनन से जुड़ी गतिविधियों और अधिकारियों की नियुक्ति/तबादले में मदद करने के एवज में जब्त की गई राशि मिली थी। ईडी ने कहा कि हनी को कुछ दस्तावेजों के साथ 3 फरवरी को एजेंसी के समक्ष व्यक्तिगत रूप से पेश होने के लिए समन जारी किया गया था।
जांच एजेंसी के मुताबिक हनी उपस्थित हुआ और अपना बयान दिया, जिसमें उसने अन्य बातों के साथ-साथ कहा कि वह खनन संबंधी गतिविधियों में शामिल है, लेकिन दोष साबित करने वाला डाटा सामने रखे जाने पर वह टालमटोल करने लगा।