अजमेर दरगाह का गौहर चिश्ती 7 दिन की रिमांड पर, नूपुर मामले में दिया था भड़काऊ भाषण

Webdunia
शुक्रवार, 15 जुलाई 2022 (23:03 IST)
जयपुर। अजमेर दरगाह के मुख्य द्वार पर 17 जून को कथित रूप से भड़काऊ भाषण देने के आरोपी गौहर चिश्ती को कड़ी सुरक्षा के बीच शुक्रवार शाम को मजिस्ट्रेट की अदालत में समक्ष पेश किया गया। मजिस्ट्रेट की अदालत ने उसे 7 दिन के लिए पुलिस हिरासत में भेज दिया है। गौहर चिश्ती को पुलिस ने हैदराबाद से गिरफ्तार किया था।
 
पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि भड़काऊ भाषण मामले में बृहस्पतिवार को हैदराबाद से गिरफ्तार गौहर चिश्ती को शुक्रवार को मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया गया।
 
उन्होंने बताया कि अदालत से जांच के लिए गौहर की 10 दिन की हिरासत पुलिस को देने का अनुरोध किया गया था, लेकिन मजिस्ट्रेट ने 22 जुलाई तक आरोपी को पुलिस हिरासत में रखकर पूछताछ की अनुमति दी। विस्तृत जांच के लिए हिरासत मांगी गई थी।
 
उन्होंने बताया कि आरोपी गौहर चिश्ती को शरण देने वाले मुनव्वर को भी मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया गया था। शरण देने की विधि अनुसार जो धाराएं हैं, उनके अनुसार उसको जमानत दी गई है, लेकिन उससे पूछताछ जारी रहेगी।
 
आंध्रप्रदेश भाग गया था चिश्ती : अजमेर के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक विकास सांगवान ने बताया कि गौहर चिश्ती के खिलाफ कथित भड़काऊ भाषण देने के मामले में 25 जून को प्राथमिकी दर्ज की गई थी। उसके बाद से वह फरार चल रहा था और 29 जून के बाद से वह राजस्थान के बाहर चला गया था। उन्होंने बताया कि गौहर को ट्रांजिट रिमांड पर अजमेर लाया गया, जहां शुक्रवार को मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया गया।
 
दरगाह के एक खादिम (मौलवी) गौहर चिश्ती पर आरोप है कि उसने अजमेर शरीफ दरगाह के मुख्य द्वार पर जिसे निजाम गेट कहा जाता है, 17 जून को मुस्लिम समुदाय की आयोजित एक रैली से पूर्व भाजपा की निलंबित प्रवक्ता नूपुर शर्मा के खिलाफ पुलिस की मौजूदगी में कथित भड़काऊ भाषण दिया था। इस संबंध में एक प्राथमिकी 25 जून की रात को दर्ज की गई थी।
 
उदयपुर में दर्जी कन्हैयालाल की 28 जून को निर्मम हत्या की घटना के बाद अजमेर पुलिस हरकत में आई और गौहर के साथ मौजूद चार लोग फकर जमाली, रियाज और तामिज को 29 जून को गिरफ्तार किया। वहीं चौथे आरोपी को 30 जून को गिरफ्तार किया गया।
 
भड़काऊ नारेबाजी : उन्होंने कथित तौर पर विवादास्पद नारे लगाए थे और अभद्र भाषा के वीडियो और ऑडियो सोशल मीडिया पर प्रसारित किए थे। दरगाह पुलिस थाने के एक कांस्टेबल द्वारा दर्ज की गई प्राथमिकी के मुताबिक गौहर ने धार्मिक स्थल से लाउडस्पीकर का उपयोग कर ‘गुस्ताखी ए नबी की एक ही सजा, सर तन से जुदा, सर तन से जुदा’ के नारे लगाकर लोगों को उकसाया था। कांस्टेबल ने तहरीर में बताया कि भीड़ को हिंसा के लिये उकसाना और हत्या का आह्वान करना संज्ञेय अपराध की श्रेणी में आता है।
 
इन धाराओं में दर्ज हुआ मामला : इस संबंध में भारतीय दंड संहिता की धारा 117 (10 से अधिक व्यक्तियों द्वारा जनता को अपराध के लिए उकसाना), 188 (लोक सेवक द्वारा विधिवत आदेश की अवज्ञा) 504 (शांति भंग करने के इरादे से जानबूझकर अपमान), 506 (आपराधिक धमकी), 34 (कई व्यक्तियों द्वारा सामान्य इरादे से किए गए कार्य) 143 और 149 (गैरकानूनी सभा) के तहत मामला दर्ज किया गया।
 
उल्लेखनीय है कि उदयपुर में दर्जी कन्हैयालाल की दो लोगों, रियाज अत्तारी और गौस मोहम्मद ने माल दास रोड के पास स्थित उसकी दुकान पर 28 जून को निर्मम हत्या कर दी थी। उन्होंने अपराध का मोबाइल फोन से वीडियो भी बनाया था। दर्जी कन्हैयालाल हत्याकांड मामले में दो मुख्य आरोपियों सहित कुल 7 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इस हत्याकांड की जांच राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (NIA) कर रही है।
 

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