महाकालेश्वर की चौथी सवारी, जानें किस रूप में निकलेंगे बाबा महाकाल

Webdunia
सोमवार, 31 जुलाई 2023 (11:31 IST)
mahakal sawan sawari
Ujjain Mahakal Fourth Sawari 2023 : 10 जुलाई 2023 को उज्जैन में महाकालेश्‍वर ज्योतिर्लिंग के महाकाल बाबा की पहली पालकी यानी सवारी, 17 जुलाई को दूसरी सवारी और अब 24 जुलाई को तीसरी सवारी निकल थी। चौथी सवारी अधिकमास की है। हर सवारी पर महाकाल बाबा का श्रृंगार अलग अलग रूपों में होता है।
 
पिछले सोमवार का स्वरूप : सावन सोमवार के पहले सोमवार पर बाबा महाकाल का मनमहेश स्वरूप में श्रृंगार किया गया था। मनमहेश स्वरूप में बाबा को पगड़ी पहनाई जाती है। इस स्वरूप में बाबा को दूल्हे के रूप में सजाया जाता है। महाकाल अपने इस स्वरूप में भक्तों की मनोकामनापूर्ण करते हैं। मान्यता है कि भगवान के स्वरूप के दर्शन करने से भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। 
 
दूसरे सोमवार को चंद्रमौलीश्वर रूप में दर्शन दिए थे। चंद्रमौलीश्वर का अर्थ होता है कि चंद्रमा की निष्कलंक दूज की कला जिनके मस्तक में शोभित हो रही है वह चंद्रमौलीश्वर हैं। तीसरी सवारी में भगवान महाकाल मनमहेश और चंद्रमौलेश्वर के स्वरूप में नगर भ्रमण करने के साथ ही गरूड़ रथ पर शिव-तांडव रूप में भ्रमण किया था। 
 
महाकालेश्वर की चौथी सवारी : उमा महेश स्वरूप में तीसरे सोमवार को भगवान श्री महाकालेश्वर श्री चंद्रमौलेश्वर के रूप में पालकी में, हाथी पर श्री मनमहेश के रूप में और गरूड़ रथ पर शिव-तांडव रूप में विराजित होकर अपनी प्रजा का हाल जानने नगर भ्रमण पर निकले थे। अब सावन की चौथी सवारी में उमा महेश स्वरूप में नजर आएंगे बाबा महाकाल। इस सवारी में भोलेनाथ नंदी रथ पर सवार होकर उमा महेश स्वरूप में भक्तों को दर्शन देंगे। सवारी के बढ़ते हुए क्रम के साथ भगवान का नया मुखौटा इसमें शामिल होता है।
 
31 जुलाई को शाम 4 बजे सभा मंडपम में पूजन के बाद सवारी का क्रम शुरू होगा। महाकाल मंदिर के द्वार पर सशस्त्र बलों की टुकड़ी बाबा को सलामी देगी। चांदी की पालकी में चंद्रमौलेश्वर, हाथी पर मन महेश, गरुड़ रथ पर शिव तांडव और नंदी रथ पर उमा महेश स्वरूप में बाबा दर्शन देंगे।
 
सवारी परंपरागत मार्ग महाकाल चौराहा, गुदरी चौराहा, बक्षी बाजार और कहारवाडी से होती हुई रामघाट पहुंचेगी। जहां शिप्रा नदी के जल से भगवान का अभिषेक और पूजन-अर्चन किया जाएगा। इसके बाद सवारी रामानुजकोट, मोढ की धर्मशाला, कार्तिक चौक खाती का मंदिर, सत्यनारायण मंदिर, ढाबा रोड, टंकी चौराहा, छत्री चौक, गोपाल मंदिर, पटनी बाजार और गुदरी बाजार से होती हुई पुन: श्री महाकालेश्वर मंदिर पहुंचेगी।

सम्बंधित जानकारी

Show comments

Vrishabha Sankranti 2024: सूर्य के वृषभ राशि में प्रवेश से क्या होगा 12 राशियों पर इसका प्रभाव

Khatu Syam Baba : श्याम बाबा को क्यों कहते हैं- 'हारे का सहारा खाटू श्याम हमारा'

Maa lakshmi : मां लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए तुलसी पर चढ़ाएं ये 5 चीज़

Shukra Gochar : शुक्र करेंगे अपनी ही राशि में प्रवेश, 5 राशियों के लोग होने वाले हैं मालामाल

Guru Gochar 2025 : 3 गुना अतिचारी हुए बृहस्पति, 3 राशियों पर छा जाएंगे संकट के बादल

Pradosh vrat : प्रदोष व्रत पर करें 3 उपाय बदल जाएगी किस्मत

Islam : इस्लाम के लिए इन ब्राह्मणों ने अपनी जान दे दी थी?

Mahavir swami: महावीर स्वामी को कैवल्य ज्ञान कब प्राप्त हुआ था?

Ramayan seeta maa : इन 3 लोगों ने झूठ बोला तो झेलना पड़ा मां सीता का श्राप

Aaj Ka Rashifal: कैसा बीतेगा आपका 17 मई का दिन, पढ़ें 12 राशियों का दैनिक राशिफल

अगला लेख