गुरु गोचर : 12 साल बाद 5 राशि में बनने वाला है गजलक्ष्मी राजयोग, पक्का होगा भाग्योदय

Webdunia
Surya guru ki yuti ka fal: 22 अप्रैल को प्रात: 03:33 पर बृहस्पति ग्रह मीन राशि से निकलकर मेष राशि में गोचर करने लगेगा। बृहस्पति ग्रह के मेष में गोचर से गजलक्ष्मी योग बनेगा। इससे पहले 14 अप्रैल 2023 को सूर्य भी मेष राशि में प्रवेश करके गुरु के साथ युति बनाएंगे। 12 साल बार 5 राशियों में बनने वाले इस योग संयोग से उनके भाग्य बदल जाएंगे।

जब राहू मेष राशि में पहले से ही विद्यमान हो और बृहस्पति मेष राशि में उसी समय प्रवेश कर जाएं तब गजलक्ष्मी योग का निर्माण होता है।
 
1. मेष राशि : आपकी राशि में सूर्य और गुरु की युति प्रथम भाव में होगी। यह दुर्लभ संयोग जब रहेगा तो आप हर क्षेत्र में उन्नति करेंगे। आपमें ऊर्जा में वृद्धि होगी। आपके मान सम्मान में बढ़ोतरी होगी। संभावना है कि वेतनवृद्धि के साथ आपकी पदोन्नति हो सकती है। व्यापार में मनचाहा मुनाफा मिलेगा।
 
2. मिथुन राशि : आपकी राशि के 11वें में यह युति बन रही है। आर्थिक स्थिति मजबूत होगी। नौकरी में सकारात्मक परिणाम देखने को मिलेंगे। व्यापार में उन्नति होगी। परिवार का सहयोग मिलेगा। यात्रा के योग बनेंगे। आपकी मनोकामना पूर्ण होगी।
3. मकर राशि : आपकी राशि में यह योग चतुर्थ भाव में बन रहा है। यह जीवन में भौतिक सुख और सुविधाओं का विस्तार करेगा। भूमि, भवन या वाहन खरीदने के योग बनाएगा। नौकरी में पदोन्नति और व्यापार में उन्नति देगा।
 
4. सिंह राशि : आपकी राशि के नौवें भाव में युति बन रही है जो भाग्य को जागृत करेगी। हर क्षेत्र में प्रगति होगी। नौकरी में आप तरक्की करेंगे और व्यापारी हैं तो आर्थिक स्थिति और भी ज्यादा मजबूत होगी। लंबी यात्रा के योग भी बनेंगे। पिता से संबंधों को मजबूत बनाकर रखें।
 
5. मीन राशि : आपकी राशि के दूसरे भाव में में यह युति बन रही है। आपकी वाणी और संबंधों में सुधार होगा। आर्थिक रूप से लाभ प्राप्त करेंगे। बचत में बढ़ोतरी होगी। करियर में सफलता मिलेगी। नौकरी में उन्नति होगी और व्यापार में मुनाफा मिलेगा। अटके हुए सभी कार्य पूर्ण होंगे।

सम्बंधित जानकारी

Show comments

ज़रूर पढ़ें

सावन सोमवार से संबंधित आरती चालीसा सहित महत्वपूर्ण जानकारी

कैलाश मानसरोवर भारत का हिस्सा क्यों नहीं है? जानिए कब और कैसे हुआ भारत से अलग?

देवशयनी एकादशी की पूजा, उपाय, व्रत का तरीका, मंत्र और महत्व

नागपंचमी का त्योहार कब मनाया जाएगा, पूजा का शुभ मुहूर्त जानिए

अमरनाथ यात्रा में रखें ये 5 सावधानियां, यात्रा रहेगी पूर्ण सुरक्षित

सभी देखें

नवीनतम

05 जुलाई 2025 : आपका जन्मदिन

पंचांग का ज्ञान, 7 अक्टूबर से 5 नवंबर के बीच क्या होने वाला है?

05 जुलाई 2025, शनिवार के शुभ मुहूर्त

आषाढ़ी शुक्ल नवमी को क्यों कहते हैं भड़ली नवमी?

श्रावण माह में इस बार कितने सोमवार हैं और किस तारीख को, जानिए

अगला लेख