Festival Posters

सावन मास में कितने और कब कब प्रदोष के व्रत रहेंगे, जानिए महत्व और 3 फायदे

WD Feature Desk
सोमवार, 30 जून 2025 (13:15 IST)
Sawan Pradosh 2025 date:  धार्मिक मान्यता के अनुसार सावन मास में भगवान शिव की पूजा का विशेष महत्व है और प्रदोष व्रत इस पवित्र महीने में और भी अधिक फलदायी माने जाते हैं। प्रदोष व्रत भगवान शिव और माता पार्वती को समर्पित होता है और यह त्रयोदशी तिथि को रखा जाता है।ALSO READ: सावन सोमवार में कब करें शिवजी का रुद्राभिषेक, क्या है इसकी विधि?
 
हिन्दू पंचांग कैलेंडर के अनुसार वर्ष 2025 में सावन मास में दो प्रदोष व्रत पड़ेंगे:
1. पहला प्रदोष व्रत, जो कि भौम प्रदोष के नाम से जाना जाएगा, यह 22 जुलाई 2025, मंगलवार को पड़ रहा है। यह व्रत सावन मास के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी को पड़ेगा।
2. दूसरा प्रदोष व्रत जो कि बुध प्रदोष होगा। यह 06 अगस्त 2025, दिन बुधवार को रखा जाएगा, और तिथिनुसार यह व्रत सावन मास के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी को पड़ेगा।
 
प्रदोष व्रत का महत्व : धार्मिक शास्त्रों के मुताबिक प्रदोष व्रत भगवान शिव की कृपा प्राप्त करने के लिए सबसे शुभ व्रतों में से एक माना जाता है। सावन मास में पड़ने वाले प्रदोष व्रत का महत्व और भी बढ़ जाता है, क्योंकि सावन का महीना भगवान शिव का महीना होने के साथ ही यह भोलेनाथ को अत्यंत प्रिय मास है।

पौराणिक मान्यता है कि प्रदोष काल यानी सूर्यास्त के बाद के समयावधि में भगवान शिव कैलाश पर्वत पर नृत्य करते हैं और सभी देवी-देवता उनकी स्तुति करते हैं। इस समय शिव पूजन करने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। अत: त्रयोदशी की संध्या समय शिव-पार्वती की पूजा करने से उनकी विशेष अनुकंपा प्राप्त है।ALSO READ: सावन सोमवार में कब करें शिवजी का रुद्राभिषेक, क्या है इसकी विधि?
 
आइए अब यहां जानते हैं प्रदोष व्रत के 3 प्रमुख फायदे:
 
1. रोग और दोष से मुक्ति: प्रदोष व्रत रखने से व्यक्ति को रोगों और शारीरिक कष्टों से मुक्ति मिलती है। यह व्रत स्वास्थ्य लाभ के लिए बहुत प्रभावी माना जाता है।
 
2. ग्रह दोषों का निवारण: ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, प्रदोष व्रत विभिन्न ग्रह दोषों को शांत करने में सहायक होता है। विशेषकर, मंगलवार को पड़ने वाला भौम प्रदोष व्रत मंगल ग्रह से संबंधित दोषों को दूर करता है और बुधवार को पड़ने वाला बुध प्रदोष व्रत बुध ग्रह से संबंधित समस्याओं को कम करता है।
 
3. मनोकामना पूर्ति और मोक्ष: प्रदोष व्रत भक्तों की सभी इच्छाओं को पूरा करने वाला माना जाता है, चाहे वह संतान प्राप्ति हो, धन-समृद्धि हो या वैवाहिक सुख। साथ ही यह व्रत मोक्ष और आध्यात्मिक शांति देने में भी सहायक होता है। अत: सावन के इन प्रदोष व्रतों में भगवान शिव की विधि-विधानपूर्वक पूजा-अर्चना करने और व्रत रखने से समस्त शिवभक्तों को भोलेनाथ का विशेष आशीर्वाद अवश्य ही प्राप्त होता है।
 
अस्वीकरण (Disclaimer) : चिकित्सा, स्वास्थ्य संबंधी नुस्खे, योग, धर्म, ज्योतिष, इतिहास, पुराण आदि विषयों पर वेबदुनिया में प्रकाशित/प्रसारित वीडियो, आलेख एवं समाचार सिर्फ आपकी जानकारी के लिए हैं, जो विभिन्न सोर्स से लिए जाते हैं। इनसे संबंधित सत्यता की पुष्टि वेबदुनिया नहीं करता है। सेहत या ज्योतिष संबंधी किसी भी प्रयोग से पहले विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें। इस कंटेंट को जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है जिसका कोई भी वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है।ALSO READ: सावन मास के व्रत और त्योहारों की लिस्ट
 

सम्बंधित जानकारी

Show comments

ज़रूर पढ़ें

Kartik maas 2025: कार्तिक मास के व्रत एवं त्योहारों की लिस्ट

Bhai dooj 2025: भाई दूज का पर्व कैसे मनाते हैं जानिए संपूर्ण विधि

Bhai dooj 2025: आरती की थाली मैं सजाऊं, कुमकुम और अक्षत से तिलक लगाऊं... इन संदेशों को भेजकर मनाइए भाईदूज का पर्व

Diwali 2025: धनतेरस, नरक चतुर्दशी, दिवाली, अन्नकूट, गोवर्धन और भाई दूज की पूजा के शुभ मुहूर्त

Diwali Weekly Horoscope: दिवाली का साप्ताहिक राशिफल, जानें यह सप्ताह किन राशियों को देगा अपार धन और सफलता का वरदान

सभी देखें

नवीनतम

23 October Birthday: आपको 23 अक्टूबर, 2025 के लिए जन्मदिन की बधाई!

Aaj ka panchang: आज का शुभ मुहूर्त: 23 अक्टूबर, 2025: गुरुवार का पंचांग और शुभ समय

Chhath puja 2025: छठ पूजा की संपूर्ण सामग्री और विधि

Chhath puja 2025: छठ पूजा की 15 हार्दिक शुभकामनाएं और संदेश

Sun Transit in Libra 2025: सूर्य का तुला राशि में गोचर, 8 राशियों के लिए अशुभ, करें उपाय

अगला लेख