मध्यप्रदेश में अखबारों के प्रसार की जांच शुरू, कुछ ने कहा : कागज नहीं दिखाएंगे

विकास सिंह
मंगलवार, 4 फ़रवरी 2020 (08:41 IST)
भोपाल। मध्यप्रदेश सरकार पत्र-पत्रिकाओं के लिए नई विज्ञापन नीति बना रही है। नई विज्ञापन नीति बनाने से पहले सरकार प्रदेश में प्रकाशित अखबारों और पत्रिकाओं की प्रसार संख्या का सत्यापन भी कर रही है। इस प्रसार संख्या के आधार पर ही विज्ञापन की दरें निर्धारित होती है।
 
सूत्र बताते हैं कि सरकार को यह जानकारी मिली है कि पूर्व में प्रसार संख्या के नाम पर काफी फर्जीवाड़ा हुआ है। कतिपय पत्र-पत्रिकाओं द्वारा प्रसार के मनगढ़ंत आंकड़े दिखाकर राज्य सरकार से विज्ञापन के नाम पर काफी राशि वसूली गई है।
 
वहीं इसको लेकर प्रमुख समाचार-पत्रों ने भी इस बात पर आपत्ति जताई है कि कतिपय फर्जी अखबारों द्वारा बढ़ी-चढ़ी प्रसार संख्या दिखाए जाने के कारण वास्तविक अखबारों को अपमानजनक स्थिति का सामना करना पड़ रहा है। यही कारण है कि राज्य के सभी जिलों में प्रसार संख्या सत्यापन प्रक्रिया प्रारंभ की गई है।
 
जिलों में कलेक्टर की अध्यक्षता में बनी समिति में जनसंपर्क विभाग तथा श्रम विभाग के अधिकारी शामिल हैं। इनके द्वारा जिले में प्रकाशित पत्र-पत्रिकाओं से उनके प्रसार संबंधी आंकड़ों और दस्तावेजों की जांच की जा रही है।
 दिलचस्प बात यह है कि कतिपय पत्र-पत्रिकाओं ने समिति को आवश्यक दस्तावेज दिखाने में आनाकानी शुरू कर दी है। एक जिले के पदाधिकारी ने इस पर व्यंग्य करते हुए कहा कि एनआरसी की तरह अब तो अखबार वाले भी कह रहे हैं- 'कागज नहीं दिखाएंगे।'
 
वहीं सोमवार को इसको लेकर समाचार-पत्रों की प्रसार संख्या के सत्यापन और पुनरीक्षण पर पत्रकार संगठनों के साथ जनसंपर्क संचालक ओमप्रकाश श्रीवास्तव ने चर्चा की। बैठक में जनसंपर्क संचालक ने पत्रकार संगठनों को आश्वस्त किया कि जिलों में समाचार-पत्रों की प्रसार संख्या के सत्यापन की जानकारी प्राप्त होने पर विज्ञापन की प्रक्रिया जारी रहेगी।
 
जानकारी के अनुसार मध्यप्रदेश सरकार ने राज्य की विज्ञापन नीति और प्रसार संख्या सत्यापन की नीति बनाने के लिए एक राज्यस्तरीय समिति बनाई है। इसमें समाचार-पत्रों के संपादकों तथा जनसंपर्क अधिकारियों के अलावा शिक्षाविद शामिल हैं। इसमें राज्य के लघु एवं मझौले अखबारों के हितों की रक्षा करते हुए फर्जीवाड़े पर कड़ाई से रोक पर सहमति बनी।

सम्बंधित जानकारी

Show comments

महाराष्ट्र में कौनसी पार्टी असली और कौनसी नकली, भ्रमित हुआ मतदाता

Prajwal Revanna : यौन उत्पीड़न मामले में JDS सांसद प्रज्वल रेवन्ना पर एक्शन, पार्टी से कर दिए गए सस्पेंड

क्या इस्लाम न मानने वालों पर शरिया कानून लागू होगा, महिला की याचिका पर केंद्र व केरल सरकार को SC का नोटिस

MP कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी और MLA विक्रांत भूरिया पर पास्को एक्ट में FIR दर्ज

टूड्रो के सामने लगे खालिस्तान जिंदाबाद के नारे, भारत ने राजदूत को किया तलब

कोविशील्ड वैक्सीन लगवाने वालों को साइड इफेक्ट का कितना डर, डॉ. रमन गंगाखेडकर से जानें आपके हर सवाल का जवाब?

Covishield Vaccine से Blood clotting और Heart attack पर क्‍या कहते हैं डॉक्‍टर्स, जानिए कितना है रिस्‍क?

इस्लामाबाद हाई कोर्ट का अहम फैसला, नहीं मिला इमरान के पास गोपनीय दस्तावेज होने का कोई सबूत

पुलिस ने स्कूलों को धमकी को बताया फर्जी, कहा जांच में कुछ नहीं मिला

दिल्ली-NCR के कितने स्कूलों को बम से उड़ाने की धमकी, अब तक क्या एक्शन हुआ?

अगला लेख