निर्भया केस : दोषी अक्षय की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट दोपहर 1 बजे सुनाएगा फैसला

Webdunia
बुधवार, 18 दिसंबर 2019 (11:28 IST)
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट के 3 जजों की नई पीठ निर्भया गैंगरेप और हत्या के दोषी अक्षय कुमार की पुनर्विचार याचिका पर सुनवाई कर रही है। कोर्ट ने अक्षय के वकील एपी सिंह को दलीलें रखने के लिए 30 मिनट का समय दिया है। एपी सिंह ने कहा कि मामले की जांच कई सवालों के घेरे में है। अब हमारे पास नए तथ्य हैं। सुप्रीम कोर्ट इस मामले में दोपहर 1 बजे अपना फैसला सुनाएगा।
 
ALSO READ: डिप्रेशन में निर्भया के चारों गुनाहगार, कम किया खाना-पीना
अक्षय के वकील ने पीठ से कहा- पीड़िता का दोस्त मीडिया से पैसे लेकर इंटरव्यू दे रहा था। इससे केस प्रभावित हुआ। वह विश्वसनीय गवाह नहीं था। इस पर जस्टिस भूषण ने कहा कि इसका इस मामले से क्या संबंध है? वकील ने कहा- वह लड़का मामले में इकलौता चश्मदीद गवाह है। उसकी गवाही मायने रखती है। 
 
वकील ने दलील दी कि मीडिया, राजनीति और जनता के दबाव में अक्षय को दोषी ठहरा दिया गया। पीड़ित ने आखिरी बयान में किसी का नाम नहीं लिया, उसकी मौत ड्रग ओवरडोज से हुई थी।
 
तीन जजों की बेंच कर रही है सुनवाई : प्रधान न्यायाधीश एसए बोबडे ने दिसंबर 2012 में हुए निर्भया बलात्कार और हत्याकांड में दोषियों की मौत की सजा बरकरार रखने के शीर्ष अदालत के 2017 के फैसले के खिलाफ एक दोषी अक्षय कुमार सिंह की पुनर्विचार याचिका पर सुनवाई से मंगलवार को खुद को अलग कर लिया। इस मामले के लिए 3 जजों की नई पीठ का गठन किया गया है, जो इस मामले की सुनवाई कर रही है।
 
फांसी से बचने के लिए दिया था अजीब तर्क : इस मामले में दोषी अक्षय ने दया का अनुरोध करते हुए दलील दी थी कि दिल्ली में बढ़ते वायु और जल प्रदूषण की वजह से जीवन छोटा होता जा रहा है इसलिए उसे फांसी की सजा न दी जाए।

सम्बंधित जानकारी

पूर्व प्रधानमंत्री का पोता बलात्कार मामले में दोषी, कोर्ट में रो पड़ा प्रज्वल, अब सजा का इंतजार

निमिषा प्रिया की फांसी रद्द होने की खबरों का सच, विदेश मंत्रालय ने बताई हकीकत

'रमी' खेलने वाले मंत्री कोकाटे को मिला नया विभाग

किससे है गंगा के ग्रीष्मकालीन प्रवाह का संबंध, IIT रुड़की के रिसर्च में हुआ खुलासा

राहुल गांधी बोले, वोट चोरी करवा रहा है चुनाव आयोग, हमारे पास सबूत

क्यों तेजी से इस धर्म को छोड़ रहे लोग, कैसी है हिन्दुओं की हालत, जानिए किन देशों में बढ़े धर्मपरिवर्तन के मामले

टैरिफ लगाने वाले अमेरिका के लिए कितने महत्वपूर्ण हैं भारत और भारतीय?

क्या होता है टैरिफ?, ट्रंप के फैसले से भारत पर क्या पड़ सकता है असर?

ग़ाज़ा: भोजन की आस में इंतज़ार के दौरान लगभग 1,400 फ़लस्तीनियों की मौत

अगला लेख