निर्भया मामला : फांसी की सजा बरकरार, सुप्रीम कोर्ट ने ठुकराई दोषियों की गुहार

Webdunia
सोमवार, 9 जुलाई 2018 (14:47 IST)
नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने 2012 के निर्भया सामूहिक बलात्कार मामले में तीन दोषियों की फांसी की सजा को उम्रकैद में बदलने की गुहार सोमवार को ठुकरा दी। मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली तीन सदस्यीय पीठ ने इस मामले में फांसी की सजा को उम्रकैद में बदलने की पवन, विनय और मुकेश की पुनर्विचार याचिका को खारिज कर दिया।


न्यायालय ने तीनों की पुनर्विचार याचिका पर चार मई को सुनवाई कर फैसला सुरक्षित रखा था। इस मामले के एक अन्य दोषी अक्षय ने पुनर्विचार याचिका दाखिल नहीं की थी। पीठ के अन्य सदस्य आर भानुमति और अशोक भूषण थे। पिछले साल 5 मई को दिए फैसले में उच्चतम न्यायालय ने निर्भया सामूहिक बलात्कार के चारों दोषियों-  मुकेश, विनय, अक्षय और पवन को दिल्ली उच्च न्यायालय द्वारा दी गई फांसी की सजा को बरकरार रखा था।
 
 
गौरतलब है कि 16 दिसम्बर 2012 को दक्षिणी दिल्ली के मुनिरका से निर्भया मित्र के साथ एक निजी बस में सवार हुई तो उसके साथ बस चालक एवं उसके सहयोगियों ने सामूहिक बलात्कार और क्रूरता की थी। बाद में निर्भया की मौत हो गई थी। दोषियों की पुनर्विचार याचिका पर फैसला सुनाए जाने के दौरान निर्भया के परिजन भी न्यायालय कक्ष में मौजूद थे।

सम्बंधित जानकारी

Reels पर तकरार, क्यों लोगों में बढ़ रहा है हर जगह वीडियो बनाने का बुखार?

क्या है 3F का संकट, ऐसा कहकर किस पर निशाना साधा विदेश मंत्री जयशंकर ने

कौन हैं स्‍वाति मालीवाल, कैसे आप पार्टी के लिए बनी मुसीबत, पिता पर लगाए थे यौन शौषण के आरोप?

रायबरेली में सोनिया गांधी की भावुक अपील, आपको अपना बेटा सौंप रही हूं

कांग्रेस, सपा सत्ता में आई तो राम मंदिर पर बुलडोजर चलाएंगी

Lok Sabha Elections 2024 : दिल्ली की जनसभा में क्यों भावुक हो गए PM मोदी, देश की 140 करोड़ जनता को बताया अपना वारिस

पूर्व सांसद अवतार सिंह भड़ाना ने कांग्रेस में की वापसी

कोर्ट ने क्यों खारिज की विभव कुमार की जमानत याचिका, बताया कारण

दिग्विजय ने 400 पार के नारे पर उठाए सवाल, भाजपा पर लगाया संविधान बदलने का आरोप

सचिन पायलट का बड़ा आरोप, बोले- भारत को विपक्ष मुक्त बनाना चाहती है BJP

अगला लेख