University Grants Commission News : विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) ने सभी उच्च शिक्षण संस्थानों को निर्देश जारी किया है कि वे शैक्षणिक सत्र 2025 से मनोविज्ञान, पोषण विज्ञान और अन्य स्वास्थ्य सेवा से संबंधित पाठ्यक्रमों को मुक्त एवं दूरस्थ शिक्षा या ऑनलाइन मोड में संचालित नहीं करेंगे। यह रोक नेशनल कमीशन फॉर एलायड एंड हेल्थकेयर प्रोफेशंस (NCAHP) एक्ट, 2021 के तहत लागू होगी। संस्थानों को यह भी निर्देश दिया गया है कि वे आगामी शैक्षणिक सत्र से इन पाठ्यक्रमों में किसी भी छात्र को प्रवेश न दें।
खबरों के अनुसार, विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) ने सभी उच्च शिक्षण संस्थानों को निर्देश जारी किया है कि वे शैक्षणिक सत्र 2025 से मनोविज्ञान, पोषण विज्ञान और अन्य स्वास्थ्य सेवा से संबंधित पाठ्यक्रमों को मुक्त एवं दूरस्थ शिक्षा या ऑनलाइन मोड में संचालित नहीं करेंगे।
यह रोक नेशनल कमीशन फॉर एलायड एंड हेल्थकेयर प्रोफेशंस (NCAHP) एक्ट, 2021 के तहत लागू होगी। यूजीसी सचिव मनीष जोशी के मुताबिक, किसी भी उच्च शिक्षण संस्थान (एचईआई) को शैक्षणिक सत्र जुलाई-अगस्त, 2025 और उसके बाद मुक्त एवं दूरस्थ शिक्षण और ऑनलाइन माध्यम से मनोविज्ञान समेत एनसीएएचपी अधिनियम, 2021 में शामिल किसी भी संबद्ध और स्वास्थ्य सेवा पाठयक्रम पढ़ाने की अनुमति नहीं दी जाएगी।
संस्थानों को यह भी निर्देश दिया गया है कि वे आगामी शैक्षणिक सत्र से इन पाठ्यक्रमों में किसी भी छात्र को प्रवेश न दें। यह प्रतिबंध राष्ट्रीय सहबद्ध एवं स्वास्थ्य देखभाल व्यवसाय आयोग (एनसीएएचपी) अधिनियम, 2021 के अंतर्गत आने वाले पाठ्यक्रमों पर लागू होगा।
इनमें मनोविज्ञान, सूक्ष्म जीव विज्ञान, खाद्य पोषण, जैव प्रौद्योगिकी, नैदानिक पोषण और आहार विज्ञान जैसे विषय शामिल हैं। यह फैसला व्यावसायिक प्रशिक्षण की गुणवत्ता बनाए रखने की चिंताओं को ध्यान में रखकर लिया गया है।
Edited By : Chetan Gour