अजमेर में भड़काऊ भाषण देने के मामले में फरार गोहर चिश्ती हैदराबाद से गिरफ्तार

Webdunia
गुरुवार, 14 जुलाई 2022 (23:37 IST)
जयपुर। अजमेर पुलिस के एक दल ने अजमेर दरगाह के मुख्य द्वार पर 17 जून को भाजपा की निलंबित प्रवक्ता नूपुर शर्मा के खिलाफ भड़काऊ भाषण देने के आरोपी गौहर चिश्ती को गुरुवार को हैदराबाद (तेलंगाना) से गिरफ्तार कर लिया।चिश्ती के खिलाफ भड़काऊ भाषण देने के मामले में 25 जून को प्राथमिकी दर्ज की गई थी।

अजमेर के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक विकास सांगवान ने बताया कि भड़काऊ भाषण मामले में फरार चल रहे गोहर चिश्ती को अजमेर पुलिस के दल ने गुरुवार को हैदराबाद से गिरफ्तार किया। पुलिस दल उसे शुक्रवार को ट्रांजिट रिमांड पर अजमेर लेकर आएगा।

उन्होंने बताया कि गोहर चिश्ती के खिलाफ भड़काऊ भाषण देने के मामले में 25 जून को प्राथमिकी दर्ज की गई थी। उसके बाद से वह फरार चल रहा था और 29 जून के बाद से वह राजस्थान के बाहर चला गया था।

दरगाह के एक खादिम (मौलवी) गोहर चिश्ती पर आरोप है कि अजमेर दरगाह के मुख्य द्वार जिसे निजाम गेट कहा जाता है पर 17 जून को मुस्लिम समुदाय की एक रैली से पूर्व भाजपा की निलंबित प्रवक्ता नूपुर शर्मा के खिलाफ पुलिस की मौजूदगी में कथित भड़काऊ भाषण दिए थे। इस संबंध में एक प्राथमिकी 25 जून की रात को दर्ज की गई थी।

उदयपुर में दर्जी कन्हैयालाल की 28 जून को निर्मम हत्या की घटना के बाद अजमेर पुलिस हरकत में आई और गोहर के साथ मौजूद चार लोग फकर जमाली, रियाज और तामिज को 29 जून को गिरफ्तार किया। वहीं चौथे आरोपी को 30 जून को गिरफ्तार किया गया था। उन्होंने विवादास्पद नारे लगाए थे और अभद्र भाषा के वीडियो और ऑडियो सोशल मीडिया पर प्रसारित किए थे।

दरगाह पुलिस थाने के एक कांस्टेबल द्वारा दर्ज कराई गई प्राथमिकी में आरोप लगाया गया कि गोहर ने धार्मिक स्थल से लाउडस्पीकर का उपयोग कर 'गुस्ताखी ए नबी की एक ही सजा, सर तन से जुदा, सर तन से जुदा' के नारे लगाकर लोगों को उकसाया।

कांस्टेबल के मुताबिक भीड़ को हिंसा के लिए उकसाना और हत्या का आह्वान करना संज्ञेय अपराध की श्रेणी में आता है। इस संबंध में भारतीय दंड संहिता की धारा 117 (दस से अधिक व्यक्तियों द्वारा जनता को अपराध के लिए उकसाना), 188 (लोक सेवक द्वारा विधिवत आदेश की अवज्ञा), 504 (शांति भंग करने के इरादे से जानबूझकर अपमान), 506 (आपराधिक धमकी) 34 (कई व्यक्तियों द्वारा सामान्य इरादे से किए गए कार्य) 143 और 149 (गैर कानूनी सभा) के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई थी।

उल्लेखनीय है कि उदयपुर में दर्जी कन्हैयालाल की रियाज अख्तरी और गौस मोहम्मद ने नामक लोगों ने माल दास रोड के पास स्थित उसकी दुकान पर 28 जून को निर्मम हत्या कर दी थी। उन्होंने अपराध का मोबाइल फोन से वीडियो भी बनाया था।

दर्जी कन्हैयालाल की हत्या के बाद उन्होंने एक अन्य वीडियो में हत्या की जिम्मेदारी लेने का दावा किया और विवादित नारे लगाए। दर्जी कन्हैयालाल हत्याकांड मामले में दो मुख्य आरोपियों सहित कुल सात लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इस हत्याकांड की जांच राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) कर रही है।(भाषा)

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