मकान बनाते या खरीदते वक्त रखें इन 26 बातों का ध्यान

Webdunia
शनिवार, 25 दिसंबर 2021 (17:37 IST)
यदि आप नया मकान बनाने जा रहा हैं या नया घर खरीदने का सोच रहे हैं तो वास्तु और ज्योतिष के अनुसार कुछ टिप्स को ध्यान में रखेंगे तो नए मकान में खुशियों के साथ रहेंगे। आओ जानते हैं खास 26 महत्वपूर्ण बातें।
 
 
1. यदि आपका प्लाट वर्गाकार है, तब उसमें आगे की जगह छोड़ते हुए पीछे की तरफ मकान बनाना चाहिए। यदि आपका प्लाट आयताकार है, तब उसमें मकान आगे ही बनाना चाहिए। यदि आपका टेपरिंग प्लाट है, तब भी उसमें आयताकार प्लॉंट की तरह ही मकान बनाएं तथा बिलकुल पीछे दोनों कोनों पर एक-एक तेज लाइट लगाएं। यदि आपके मकान के पीछे पहाड़ी, बड़ा पेड़, बड़ी इमारत आदि है तो उत्तम। यह आपको सुरक्षा प्रदान करती है।
 
2. मुख्य दरवाजे की तरफ सीढ़ियां नहीं होनी चाहिए। आपका ड्रॉइंग रूम सदैव उत्तर दिशा की ओर होना चाहिए। साथ ही फर्नीचर दक्षिणी और पश्चिमी दीवार के साथ लगाकर रखें। इसका यह अर्थ हुआ कि आप उत्तर और पूर्व की दिशा की ओर मुंह कर बैठेंगे, जो स्वस्‍थ दिमाग के लिए काफी कारगर है।
 
3. लाल किताब के अनुसार कभी भी दक्षिणमुखी मकान नहीं लेना चाहिए। ले लिया है तो फिर दक्षिण के द्वार को बदल कर उत्तर या पूर्व में कर देंगे तो तुरंत लाभ मिलेगा।
 
4. कई लोग यह मानते हैं कि गोमुखी मकान अच्छा होता है और शेरमुखी अशुभ। यह भी कहते हैं कि शेरमुखी दुकान अच्छी होती है परंतु हम यहां कहना चाहेंगे कि यदि गोमुखी मकान ले रहे या बना रहे हैं तो मकान के मालिक अपनी कुंडली की जांच जरूर करा लें क्योंकि हो सकता हो कि आपके लिए गोमुखी मकान अच्छा नहीं हो।
 
5. मकान के दाहिने, बाएं या पीछे कोई गली हो, तो उसे बंद नहीं करना चाहिए। वहां खेती या बागबानी भी नहीं करना चाहिए। गली में किसी भी प्रकार का अवरोध डालने से संतान के भविष्य पर बुरा असर पड़ता है। यदि कोई गली किसी कारण बंद करनी ही पड़े, तो प्रति वर्ष 5 किलो साबुत उड़द को जलधारा में बहाना चाहिए।
 
6. लाल किताब अनुसार, नुक्कड़ या तीन तरफ से खुला मकान भी ठीक नहीं होता है। ऐसे मकान में रहने वालों को धनहानी, परिवार में वैमनस्य, क्लेश और बिगड़ैल औलाद के कारण दुखी होना पड़ता है।
 
7. लाल किताब के अनुसार शौचालय में राहु का वास रहता है अत: इसे वास्तु अनुसार बनाकर साफ सुथरा रखना चाहिए। शौचालय और बाथरूम दोनों एकसाथ नहीं होना चाहिए। 
 
8. सीढ़ियों पर भी राहु का वास होता है। सीढ़ियां अगर सही दिशा में बनी हों, तो इस पर चढ़ने उतरने वाले दिन-रात प्रगति करते हैं। सीढ़ियों का प्रत्येक पायदान बराबर होना चाहिए और सीढ़ियां हमेशा विषम संख्या में हों।
 
9. तीन तरह के मकान अच्छे नहीं होते शनि, राहु और केतु वाले मकान नहीं लेना चाहिए। अर्थात जिस मकान के आसपास कीकर, आम और खजूर के वृक्ष हो, मकान के भीतर तलघर हो, पीछे की दीवार कच्ची हो तो यह मकान खराब शनि का माना जाएगा। दूसरा कोई मकान सुनसान इलाके में हो, भीतर से डरावना लगता हो या घर के आसपास मांस या शराब की दुकान हो और जिसके आसपास बबूल और कैक्टस जैसे झाड़ या पौधे लगे हो वह खराब राहु का मकान होता है।
 
10. इसी तरह कोने के मकान केतु का होता है। यह अच्छा भी हो सकता है और खराब भी। यदि तीन तरफ मकान एक तरफ खुला या तीन तरफ खुला हुआ और एक तरफ कोई साथी मकान या खुद उस मकान में तीन तरफ खुला होगा तो यह केतु का मकान होगा। केतु के मकान में नर संतानें लड़के चाहे पोते हों लेकिन कुल तीन ही होंगे। इस मकान में बच्चों से संबंधित, खिड़कियां, दरवाजे, बुरी हवा, अचानक धोखा होने का खतरा रहता है। हो सकता है कि मकान के आसपास इमली का वृक्ष, तिल के पौधे या केले का वृक्ष हो।
 
11. जन्मपत्रिका के भाव 3 में केतु हो तो जातक को दक्षिणामुखी घर में नहीं रहना चाहिए। रहेगा तो बर्बाद हो जाएगा।
 
12. एक बार भवन निर्माण शुरू हो जाए तो उसे बीच में न रोकें। अन्यथा अधूरे मकान में राहु का वास हो जाएगा। 
 
13. जिनका घर राहु का घर है वह अंदर से बहुत ही भयानक अहसास वाला होता है।  कई दिनों से खाली पड़ा डरावना-सा मकान भी राहु के असर वाला घर हो सकता है।
 
14. शनि यदि अष्टमभाव में हो तो खुद का मकान बनाने की सोचने से पहले अपनी कुंडली की जांच करा लें अन्यथा मुसीबत में फंस जाएंगे।
 
15. घर में यदि तलघर है तो यह शनि का मकान माना जाता है। यह किसी के लिए अच्छा और किसी के लिए खराब होता है।
 
16. आठ कोने के मकान लंबी बीमारी, मुसीबत और मृत्यु को दर्शाता है। शनि अष्टम में होने के संकेत। 18 कोने के मकान है तो धन की हानि, विवाह का नहीं होना। विवाह हो जाए तो विधुर-विधवा योग बनते हैं। इसी तरह 3 और 13 कोने वाला मकान साजिश में बर्बादी को दर्शाता है। 5 कोने वाला मकान संतान की बर्बादी। 
 
17. कोने का मकान होगा। तीन तरफ मकान एक तरफ खुला या तीन तरफ खुला हुआ और एक तरफ कोई साथी मकान या खुद उस मकान में तीन तरफ खुला होगा। ऐसा मकान केतु के मकान होता जो घटना और दुर्घाटना या अचानकर हुए धोखे का मकान माना जाता है।
18. कुंडली में राहु यदि 12वें अथवा 8वें भाव में है तो मकान बनाते समय छत पर किसी भी प्रकार का अटाला रखने का स्थान न बनाएं या छत पर कूड़ा करकट, कोयला, कागज आदि का भंडारण स्थान कक्ष न बनवाएं। यदि मकान की छत पर तंदुर लगाया तो राहु कहीं भी हो वह कुंडली के 12वें घर में स्थापित हो जाएगा। ठीक दक्षिण दिशा में शौचायल होने से राहु छटे घर में स्थापित हो जाता है जो कुंडली में राहु के बुरे फल का नाश कर देता है।
 
19. जिस जातक का सूर्य ऊंचा हो उसे पूर्व दिशा के दरवाजे वाले मकान में रहना चाहिए जबकि शनी ऊंचा हो तो पश्चिम दिशा का दरवाजा शुभ फल देगा। इसी तरह कुंडली में अन्य ग्रहों की जांच करके ही दिशा का चयन करें।
 
20. जन्मकुंडली के खाना नंबर 1 में शनि हो और खाना नंबर 6, 7 और 10 में कोई ग्रह बैठा हो जिनकी आपस में बनती न हो या वे एक दूसरे को दूषित कर रहे हैं तो खाना नंबर 8 भी दूषित होगा या फिर जातक ने अपने कर्मों से दूषित कर लिया होगा। ऐसा जातक अगर मकान बना ले तो रोटी-रोटी से मोहताज हो जाता है।
 
21. कुंडली के खाना नंबर 2 में शनि बैठा हो और कुंडली में शुक्र एवं मंगल ग्रह शुभ हो तो जातक अपना मकान जब और जैसा बने उसको बनने दें उसमें कोई दखल न दें तभी वह फलीभूत होगा। लेकिन यदि शनि खाना नंबर 3 में हो तो मकान तो बनेगा लेकिन 2 कुत्ते पालने होंगे वर्ना उसके घर में गरीबी का कुत्ता भोंकता रहेगा।
 
22. यदि शनि खाना नंबर 4 में हो और वो जातक नया मकान बनाने लगे तो उसके नाना के खानदान में, ससुराल के खानदान में और दादी या बुजुर्ग औरतों पर इसका बुरा असर होगा इसी तरह यदि शनि खाना नंबर 5 में हो तो औलाद पर बुरा असर होना शुरू होगा और नंबर 6. में हो तो अपना मकान 39 साल के बाद बनवाए वर्ना लड़कियों के रिश्तेदारों पर बुरा असर होगा।
 
23. शनि खाना नंबर 7 में होने पर जातक को अपना मकान खुद नहीं बनाना चाहिए बल्कि उसे हमेशा बना-बनाया मकान ही लेना चाहिए और यदि शनि खाना नंबर 8 में हो और शुक्र, मंगल ग्रह भी दूषित हो रहे हों तो जातक को अपने नाम से मकान नहीं बनवाया चाहिए। मकान बनवा रहे हैं तो उधर जाकर देखना भी नहीं चाहिए। वर्ना बर्बादी प्रारंभ हो जाएगी।
 
24. यदि जन्मकुंडली में शनि खाना नंबर 9 में हो और मकान बनाते समय घर की कोई महिला महिला गर्भवती तो उस जातक को अपनी कमाई से मकान नहीं बनाना चाहिए। उसके आगे-पीछे बना सकते हैं। इसी तरह अगर शनि खाना नंबर 10 में हो तो भी जातक को अपनी कमाई से मकान नहीं बनाना चाहिए। वह इस नियम का पालन करता है तो उसकी दौलत हमेशा बनी रहेगी।
 
25. शनि खाना नंबर 11 में हो तो वो जातक कभी भी मकान आदि दक्षिण दिशा का न बनाएं और न ही कभी शराब आदि का सेवन करें। वर्ना सेहत की कोई गारंटी नहीं। अगर मकान बनाना भी हो तो अपनी उम्र के 55 साल के बाद ही अपना मकान बनाएं। इसी तरह यदि शनि खाना नंबर 12 में हो तो मकान बनेगा और जैसा बने उसे बनने दें उसे रोके नहीं या उसमें अपना दिमाग ना लगाएं।
 
26. घर की छत में किसी भी प्रकार का उजालदान न हो। जैसे आजकल घर की छत में लोग दो-बाइ-दो का एक हिस्सा खाली छोड़ देते हैं उजाले के लिए। इससे घर में हमेशा हवा का दबाव बना रहेगा, जो सेहत और मन-मस्तिष्क पर बुरा असर डालेगा। तिरछी छत बनाने से बचें- छत के निर्माण में इस बात का ध्यान रखें कि वह तिरछी डिजाइन वाली न हों। इससे डिप्रेशन और स्वास्थ्य संबंधी अन्य समस्याएं उत्पन्न होने लगती हैं। घर की छत की ऊंचाई भी वास्तु अनुसार होना चाहिए।

सम्बंधित जानकारी

Show comments

ज़रूर पढ़ें

ज्योतिष की नजर में क्यों है 2025 सबसे खतरनाक वर्ष?

Indian Calendar 2025 : जानें 2025 का वार्षिक कैलेंडर

Vivah muhurat 2025: साल 2025 में कब हो सकती है शादियां? जानिए विवाह के शुभ मुहूर्त

रावण का भाई कुंभकरण क्या सच में एक इंजीनियर था?

शुक्र का धन राशि में गोचर, 4 राशियों को होगा धनलाभ

सभी देखें

नवीनतम

23 नवंबर 2024 : आपका जन्मदिन

23 नवंबर 2024, शनिवार के शुभ मुहूर्त

Vrishchik Rashi Varshik rashifal 2025 in hindi: वृश्चिक राशि 2025 राशिफल: कैसा रहेगा नया साल, जानिए भविष्‍यफल और अचूक उपाय

Kaal Bhairav Jayanti 2024: काल भैरव जयंती कब है? नोट कर लें डेट और पूजा विधि

Tula Rashi Varshik rashifal 2025 in hindi: तुला राशि 2025 राशिफल: कैसा रहेगा नया साल, जानिए भविष्‍यफल और अचूक उपाय

अगला लेख