अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर कविता : हर युग में नारी बनी, बलिदानों की आन

सुशील कुमार शर्मा
Womens Day Poem
 
नारी का सम्मान ही, पौरुषता की आन,
नारी की अवहेलना, नारी का अपमान।
 
मां-बेटी-पत्नी-बहन, नारी रूप हजार,
नारी से रिश्ते सजे, नारी से परिवार।
 
नारी बीज उगात है, नारी धरती रूप,
नारी जग सृजित करे, धर-धर रूप अनूप।
 
नारी जीवन से भरी, नारी वृक्ष समान,
जीवन का पालन करे, नारी है भगवान।
 
नारी में जो निहित है, नारी शुद्ध विवेक,
नारी मन निर्मल करे, हर लेती अविवेक।
 
पिया संग अनुगामिनी, ले हाथों में हाथ,
सात जनम की कसम, ले सदा निभाती साथ।
 
हर युग में नारी बनी, बलिदानों की आन,
खुद को अर्पित कर दिया, कर सबका उत्थान।
 
नारी परिवर्तन करे, करती पशुता दूर,
जीवन को सुरभित करे, प्रेम करे भरपूर।
 
प्रेम लुटा तन-मन दिया, करती है बलिदान,
ममता की वर्षा करे, नारी घर का मान।
 
मीरा, सची, सुलोचना, राधा, सीता नाम,
दुर्गा, काली, द्रौपदी, अनसुइया सुख धाम।
 
मर्यादा गहना बने, सजती नारी देह,
संस्कार को पहनकर, स्वर्णिम बनता गेह।
 
पिया संग है कामनी, मातुल सुत के साथ,
सास-ससुर को सेवती, रुके कभी न हाथ।

ALSO READ: महिला दिवस पर कविता : नारी जीवन की छाया

सम्बंधित जानकारी

Show comments
सभी देखें

जरुर पढ़ें

क्या स्ट्रेस और घबराहट को कम करने में असरदार है डार्क चॉकलेट?

कहीं बच्चे के रोने का कारण पेट में ऐंठन तो नहीं? राहत पाने के लिए अपनाएं ये असरदार टिप्स

स्वेटर और जैकेट के साथ ऐसे करें ज्वेलरी स्टाइल, प्रोफेशनल और पार्टी लुक को मिनटों में बनाएं खास

प्रीति जिंटा ने वीडियो पोस्ट कर बताया अपनी फिटनेस का राज, आप भी जानें

बेहतर नींद के लिए पीजिए ये चाय, जानिए पीने का सही समय और फायदे

सभी देखें

नवीनतम

15 दिसंबर : लौह पुरुष सरदार वल्लभभाई पटेल की पुण्यतिथि पर पढ़ें उनके अनमोल विचार जो सिखाते हैं जीवन का पाठ

2024 में ऑनलाइन डेटिंग का जलवा : जानें कौन से ऐप्स और ट्रेंड्स रहे हिट

ये थे साल 2024 के फेमस डेटिंग टर्म्स : जानिए किस तरह बदली रिश्तों की परिभाषा

कटे फल नहीं पड़ेंगे काले, इन हेक्स की मदद से ट्रेवल या टिफिन में लम्बे समय तक फ्रूट्स को रखें फ्रेश

सर्दियों में इन 4 अंगों पर लगाएं घी, सेहत को मिलेंगे गजब के फायदे

अगला लेख