दशहरा पर क्यों पूजे जाते हैं शिर्डी के साईं बाबा? 12 मंत्र, 3 खास बातें जानना जरूरी है

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शिर्डी स्थित श्री साईं बाबा ने सन् 1918 में दशहरे के दिन दोपहर के समय आखिरी सांस ली थी। ऐसा कहा जाता है कि साईं बाबा ने अपने भक्तों से कहा था कि दशहरा का दिन उनके दुनिया से विदा होने के लिए सबसे अच्छा दिन है और इसका संकेत भी उन्होंने पहले ही दे दिया था। 
 
उन्होंने शिर्डी में 15 अक्टूबर, दशहरे के दिन ही समाधि ली थी। उन्होंने अन्न-जल त्याग कर अपने नश्वर शरीर का त्याग कर वे ब्रह्मलीन हो गए थे, उस दिन विजयादशमी/ दशहरा का दिन था। विजयादशमी यानी दशहरे के दिन विशेष तौर पर साईं के इन मंत्रों जाप करना जीवन में चमत्कारी परिवर्तन लाता है। आइए जानते हैं नें साईं बाबा के विशेष मंत्र और खास बातें...- 
 
साईं बाबा के 12 मंत्र-
 
1. ॐ साईं राम
 
2. ॐ साईं गुरुवाय नम:
 
3. सबका मालिक एक है
 
4. ॐ साईं देवाय नम:
 
5. ॐ शिर्डी देवाय नम:
 
6. ॐ समाधिदेवाय नम:
 
7. ॐ सर्वदेवाय रूपाय नम:
 
8. ॐ सर्वज्ञा सर्व देवता स्वरूप अवतारा
 
9. ॐ अजर अमराय नम:
 
10. ॐ मालिकाय नम:
 
11. जय-जय साईं राम
 
12. ॐ शिर्डी वासाय विद्महे सच्चिदानंदाय धीमहि तनो साईं प्रचोदयात।

खास बातें- 
 
1. शिर्डी के साईं बाबा के बारे में मान्यता हैं कि वे अपने सभी भक्तों की मनोकामना शीघ्र ही पूर्ण करते हैं। अगर 9 गुरुवार तक साईं बाबा का व्रत लगातार किया जाए, तो हर मनोकामना पूर्ण हो सकती है। 
 
2. दशहरे का दिन खास तौर पर उनके मंत्रों का जाप करना बहुत ही लाभकारी होता है। उनके चमत्कारी मंत्रों का जाप करने से नौकरी, शादी, व्यापार वृद्धि, प्रमोशन या फिर वेतन बढ़ोतरी, आर्थिक संपन्नता जो भी आपकी पाने की कामना हो, साईं मनोकामना पूर्ण करते हैं। 
 
3. साईं की आराधना प्रतिदिन अथवा गुरुवार के अलावा दशहरे के दिन करने का विशेष महत्व है। दशहरे पर साईं मंत्रों का जाप आप जीवन की समस्त दु:ख, परेशानियां दूर करके उन्नति कर सकते हैं, तथा जीवन खुशहाल हो जाता है। 



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