शरीर में ये एक लक्षण दिखते ही हो जाए सावधान, हो सकता है मौत का संकेत!

Webdunia
बदलते दौर में छोटी उम्र से लेकर एडल्‍ट तक असमय मौत का शिकार हो रहे हैं। कई बार यह लाइफस्‍टाइल पर भी निर्भर करता है। उम्र के साथ इंसान में थकावट भी बढ़ने लगती है। एक अध्ययन के मुताबिक, थकावट किसी भी इंसान की असामयिक यानी समय से पहले मौत का संकेत भी हो सकता है। आइए जानते हैं क्‍या कहा अध्ययन में -

जर्नल ऑफ ग्रोन्‍टोलॉजी - मेडिकल साइंसेज में एक अध्ययन प्रकाशित किया गया है। जिसमें तनाव, मानसिक और शारीरिक थकावट इंसान के जल्दी मरने के संकेत हो सकते हैं। इस अध्ययन में 60 साल से अधिक 2,906 लोगों पर शोध किया गया। यह शोध एक्टिविटी के पैमाने पर किया गया। इसमें 1 से 5 तक की रेटिंग तय की गई थी। एक्टिविटी के अनुसार से थकावट का पैमाना तय किया गया।

- 30 मिनट की वॉक, लाइट हाउस वर्क और हैवी गार्डनिंग एक्टिविटी शामिल थी। इसी के साथ मौत होने वाले कारकों पर भी नजर डाली गई। जिसमें शोध में पाया गया कि एक्टिविटी में हिस्सा लेने वाले जिन प्रतिभागियों ने ज्यादा थकावट महसूस की उनमें असमायिक मौत का खतरा अधिक था। शोध में सामने आया कि डिप्रेशन, लाइलाज बीमारी, लिंग या उम्र से संबंधित जैसे कारण शामिल है।

एक तरफ जहां इंसान ओवर ईटिंग का शिकार हो रहे हैं लेकिन फिजिकल एक्टिविटी आज के टाइम में बेहद जरूरी है। विशेषज्ञों के मुताबिक हर दिन 15 मिनट की फिजिकल एक्टिविटी से इंसान की जिंदगी में 3 साल का इजाफा हो सकता है। शोध में खुलासा हुआ कि फिजिकली एक्टिव रहने से थकावट का स्तर कम होता है।

अमेरिका के एक नए शोध में पाया गया कि 46 हजार से अधिक कैंसर के मामलों को हर साल बचाया जा सकता। हर हफ्ते 5 घंटे एक्सरसाइज करने से ब्रेस्ट कैंसर के खतरे को कम किया जा सकता है।

सम्बंधित जानकारी

गर्भवती महिलाओं को क्यों नहीं खाना चाहिए बैंगन? जानिए क्या कहता है आयुर्वेद

हल्दी वाला दूध या इसका पानी, क्या पीना है ज्यादा फायदेमंद?

ज़रा में फूल जाती है सांस? डाइट में शामिल ये 5 हेल्दी फूड

गर्मियों में तरबूज या खरबूजा क्या खाना है ज्यादा फायदेमंद?

पीरियड्स से 1 हफ्ते पहले डाइट में शामिल करें ये हेल्दी फूड, मुश्किल दिनों से मिलेगी राहत

मेडिटेशन करते समय भटकता है ध्यान? इन 9 टिप्स की मदद से करें फोकस

इन 5 Exercise Myths को जॉन अब्राहम भी मानते हैं गलत

क्या आपका बच्चा भी हकलाता है? तो ट्राई करें ये 7 टिप्स

जर्मन मीडिया को भारतीय मुसलमान प्रिय हैं, जर्मन मुसलमान अप्रिय

Metamorphosis: फ्रांत्स काफ़्का पूरा नाम है, लेकिन मुझे काफ़्का ही पूरा लगता है.

अगला लेख