Festival Posters

इस रक्षाबंधन भाई को राखी बांधते समय न करें ये गलतियां, जानिए जरूरी नियम

WD Feature Desk
शुक्रवार, 8 अगस्त 2025 (13:32 IST)
raksha bandhan par na kare ye galtiya: रक्षाबंधन, भाई-बहन के प्रेम का प्रतीक, भारतीय संस्कृति का एक महत्वपूर्ण त्योहार है। यह पर्व सिर्फ एक धागा बांधने तक सीमित नहीं है, बल्कि यह एक पवित्र रस्म है जो भाई की लंबी उम्र, सुख-समृद्धि और बहन की सुरक्षा की कामना से जुड़ी है। इस दिन बहनें अपने भाई की कलाई पर राखी बांधकर उनकी सलामती की दुआ करती हैं और बदले में भाई उनकी रक्षा का वचन देते हैं। इस खास मौके पर कुछ नियमों का पालन करना बहुत जरूरी माना जाता है। आइए जानते हैं, राखी बांधते समय कौन सी गलतियां करने से बचना चाहिए।

देवताओं को राखी ना बांधना: यह सबसे बड़ी गलतियों में से एक है। राखी की रस्म शुरू करने से पहले, सबसे पहली राखी भगवान गणेश या अपने कुल देवता को अर्पित करनी चाहिए। ऐसा करने से भाई-बहन के रिश्ते पर उनकी कृपा बनी रहती है और यह त्योहार और भी ज्यादा शुभ हो जाता है। देवताओं का आशीर्वाद प्राप्त करना किसी भी शुभ कार्य की शुरुआत के लिए बेहद महत्वपूर्ण है।

शुभ मुहूर्त की अनदेखी करना: हर शुभ कार्य के लिए एक निश्चित समय यानी शुभ मुहूर्त होता है। राखी हमेशा शुभ मुहूर्त में ही बांधनी चाहिए। भद्रा काल को अशुभ माना जाता है और इस दौरान राखी बांधना वर्जित है। मान्यता है कि भद्रा काल में किया गया कोई भी शुभ कार्य अशुभ फल देता है। इसलिए, राखी बांधने से पहले पंचांग देखकर शुभ मुहूर्त का ध्यान रखना बहुत जरूरी है।

राखी की रस्म के दौरान सिर न ढकना: भारतीय परंपरा में पूजा या किसी भी पवित्र कार्य के दौरान सिर ढकना सम्मान और श्रद्धा का प्रतीक माना जाता है। जब बहन अपने भाई को राखी बांध रही हो, तो उसका सिर ढका हुआ होना चाहिए। यह न केवल परंपरा का हिस्सा है, बल्कि यह इस रस्म की पवित्रता और गरिमा को भी बनाए रखता है।

रक्षा बंधन मंत्र का जाप न करना: राखी बांधते समय एक विशेष मंत्र का जाप किया जाता है, जो इस रस्म के महत्व को और बढ़ाता है। यह मंत्र भाई की लंबी आयु और सुरक्षा की कामना को दर्शाता है। मंत्र है:
"येन बद्धो बलि राजा, दानवेन्द्रो महाबल:। तेन त्वाम् प्रतिबद्धनामि, रक्षे माचल माचल:"
इसका अर्थ है, "जिस रक्षासूत्र से महाबली दानवेन्द्र राजा बलि को बांधा गया था, उसी से मैं तुम्हें बांधता हूँ, हे रक्षा! तुम कभी विचलित न होना।"

भाई का मुख दक्षिण दिशा में हो: वास्तु शास्त्र के अनुसार, पूजा या किसी भी शुभ कार्य के दौरान दक्षिण दिशा की ओर मुख करना शुभ नहीं माना जाता है। दक्षिण दिशा को यम (मृत्यु के देवता) की दिशा माना जाता है। राखी बांधते समय भाई का मुख उत्तर या पूर्व दिशा की ओर होना चाहिए, क्योंकि ये दिशाएं शुभता और सकारात्मकता का प्रतीक हैं।

टूटे हुए दीये का प्रयोग और दक्षिणा न देना: पूजा की थाली में सभी वस्तुएं पूरी और अच्छी स्थिति में होनी चाहिए। टूटा हुआ दीया या खंडित वस्तुओं का प्रयोग अशुभ माना जाता है। इसी तरह, राखी बांधने और मिठाई खिलाने के बाद भाई को अपनी बहन को दक्षिणा या उपहार अवश्य देना चाहिए। यह परंपरा भाई के आभार और बहन के प्रति सम्मान को दर्शाती है। यह सिर्फ एक उपहार नहीं, बल्कि बहन के प्रति प्यार और आशीर्वाद का प्रतीक है।

राखी के बाद पैर न छूना
राखी बांधने के बाद, भाई को अपनी बहन के पैर छूकर आशीर्वाद लेना चाहिए। यह सम्मान और विनम्रता का प्रतीक है। अगर बहन उम्र में बड़ी है, तो भाई को उसके पैर छूकर आशीर्वाद लेना चाहिए। यह रस्म भाई-बहन के रिश्ते को और भी मधुर और सम्मानजनक बनाती है।

रक्षाबंधन पर राखी बांधने के शुभ मुहूर्त:  

 


अस्वीकरण (Disclaimer) : सेहत, ब्यूटी केयर, आयुर्वेद, योग, धर्म, ज्योतिष, वास्तु, इतिहास, पुराण आदि विषयों पर वेबदुनिया में प्रकाशित/प्रसारित वीडियो, आलेख एवं समाचार जनरुचि को ध्यान में रखते हुए सिर्फ आपकी जानकारी के लिए हैं। इससे संबंधित सत्यता की पुष्टि वेबदुनिया नहीं करता है। किसी भी प्रयोग से पहले विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें।

सम्बंधित जानकारी

Show comments
सभी देखें

ज़रूर पढ़ें

Lal Kitab Kanya rashi upay 2026: कन्या राशि के जातकों के लिए लाल किताब के अचूक उपाय, शनि से रहना होगा सतर्क

Horoscope 2026: नया साल आपकी किस्मत कैसे बदलेगा? जानें महत्वपूर्ण मौके, चुनौतियां और उपाय (वार्षिक राशिफल 2026)

Meen Rashi 2026: मीन राशि का राशिफल: शनि और राहु से रहें बचकर, गुरु करेंगे भविष्य तय

बृहस्पति का पुन: मिथुन राशि में होने वाला है गोचर, 12 राशियों की बदल जाएगी किस्मत

Trigrahi yog: वृश्चिक राशि में बना त्रिग्रही योग, 5 राशियों के लिए है बहुत ही शुभ समय

सभी देखें

धर्म संसार

2026 Horoscope: 100 साल बाद मकर राशि में महासंयोग: 2026 में 5 राशियां होंगी मालामाल

06 December Birthday: आपको 6 दिसंबर, 2025 के लिए जन्मदिन की बधाई!

Aaj ka panchang: आज का शुभ मुहूर्त: 06 दिसंबर, 2025: शनिवार का पंचांग और शुभ समय

Lal Kitab Meen rashi upay 2026: मीन राशि के जातकों के लिए लाल किताब के अचूक उपाय, शनि और राहु से रहें बचकर

अयोध्या में राम मंदिर, संपूर्ण देश के लिए स्थायी प्रेरणा का स्रोत

अगला लेख