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शिवरात्रि पर शिवजी को प्रसन्न करने के लिए करें ये 5 पाठ

WD Feature Desk
मंगलवार, 22 जुलाई 2025 (16:50 IST)
Shiva mantras for blessings: शिवरात्रि भगवान शिव को समर्पित एक अत्यंत पवित्र पर्व है। इस दिन शिवजी को प्रसन्न करने और उनकी कृपा प्राप्त करने के लिए कुछ विशेष पाठों का बहुत महत्व है। यहाँ 5 ऐसे पाठ दिए गए हैं जिन्हें शिवरात्रि पर करना अत्यंत शुभ माना जाता है। यहां वेबदुनिया अपने प्रिय पाठकों के लिए प्रस्तुत कर रहा हैं शिवरात्रि पर शिवजी को प्रसन्न करने के लिए 5 विशेष पाठ...ALSO READ: सावन की शिवरात्रि पर 10 खास बातें
 
1. श्री शिव चालीसा: यह भगवान शिव को समर्पित एक सरल और प्रभावी स्तुति है। शिव चालीसा का पाठ करने से शिवजी की असीम कृपा प्राप्त होती है और भक्तों के कष्ट दूर होते हैं। इसे समझना और इसका पाठ करना आसान है, जिससे यह सभी भक्तों के लिए सुलभ है।
 
2. महामृत्युंजय मंत्र: यह भगवान शिव का सबसे शक्तिशाली मंत्र माना जाता है। 'ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्। उर्वारुकमिव बन्धनान् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्॥' इस मंत्र का जाप करने से अकाल मृत्यु का भय दूर होता है, स्वास्थ्य लाभ होता है और लंबी आयु प्राप्त होती है। शिवरात्रि पर इस मंत्र का जाप विशेष फलदायी होता है।ALSO READ: सावन शिवरात्रि पर करें ये अचूक उपाय, अड़चन होगी दूर, खुल जाएंगे विवाह के द्वार
 
3. शिव पंचाक्षर स्तोत्र: यह भगवान शिव के 'नमः शिवाय' पंचाक्षर मंत्र पर आधारित एक सुंदर स्तोत्र है। इस स्तोत्र के प्रत्येक अक्षर (न, म, शि, वा, य) का अपना महत्व है और इसका पाठ करने से शिवजी की विशेष कृपा मिलती है। यह स्तोत्र भक्ति और समर्पण के साथ भगवान शिव का आह्वान करता है।
 
4. रुद्राष्टकम: यह गोस्वामी तुलसीदास द्वारा रचित भगवान शिव को समर्पित एक अत्यंत प्रसिद्ध स्तोत्र है। 'नमामीशमीशान निर्वाणरूपं, विभुं व्यापकं ब्रह्म वेदस्वरूपम्।' रुद्राष्टकम का पाठ करने से भगवान शिव की स्तुति होती है और उनकी प्रसन्नता प्राप्त होती है। इसमें शिवजी के विभिन्न रूपों और गुणों का वर्णन किया गया है।
 
5. शिव महिम्न स्तोत्र: यह पुष्पदंत गन्धर्व द्वारा रचित भगवान शिव की महिमा का गुणगान करने वाला एक शक्तिशाली स्तोत्र है। इस स्तोत्र का पाठ करने से शिवजी के प्रति भक्ति बढ़ती है और उनके आशीर्वाद से जीवन में सुख-शांति आती है। यह स्तोत्र शिवजी के अनंत गुणों और उनकी सर्वोच्चता का वर्णन करता है।ALSO READ: 23 जुलाई को शिवरात्रि का महापर्व, जानिए शिवलिंग पूजा का शुभ मुहूर्त, विधि और महत्व
 
इन पाठों को शिवरात्रि के पावन अवसर पर श्रद्धापूर्वक करने से भगवान शिव निश्चित रूप से प्रसन्न होते हैं और भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूर्ण करते हैं। आप अपनी सुविधानुसार इनमें से किसी एक या अधिक पाठ का चयन कर सकते हैं।
 
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